नई दिल्ली / भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। संसद के बजट सत्र में आज राज्यसभा में मध्यप्रदेश के दो दिग्गज नेताओं के बीच ऐसा वाकया हुआ जिसके दौरान अचानक सदन का माहौल हल्का हो गया और वहां हंसी ठिठोली हो गई। ये वाकया पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह (Digvijay Singh) और पूर्व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) के बीच। दोनों इस समय राज्यसभा के सदस्य हैं।
दरअसल संसद के बजट सत्र का आज चौथा दिन है। राज्यसभा में भाजपा सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) और कांग्रेस सांसद दिग्वजय सिंह (Digvijay Singh) दोनों मौजूद थे। सदन का माहौल गंभीर था, विपक्षी पार्टियां कृषि कानूनों व किसान आंदोलन के मुद्दे पर सरकार पर लगातार हमला कर रही थीं। इसी बीच जब सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) के बोलने का नंबर आया तो उन्होंने कृषि कानूनों और आम बजट पर मोदी सरकार की तारीफ की और सरकार का पक्ष रखा। सिंधिया ने अपने भाषण में यूपीए सरकार पर भी तंज कसा।
दिग्विजय सिंह ने कहा वाह जी महाराज वाह
ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) जब अपनी बात रख चुके तो बोलने क नम्बर आया मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री एवं कांग्रेस के राज्यसभा सदस्य दिग्विजय सिंह (Digvijay Singh) का। उन्होंने सभापति वेंकैया नायडू की तरफ देखते हुए कहा – सभापति महोद, मैं आपके माध्यम से सिंधिया जी को बधाई देता हूं, जितने अच्छे ढंग से वह यूपीए सरकार में सरकार का पक्ष रखते थे उतने ही अच्छे ढंग से उन्होंने भाजपा का पक्ष रखा है. आपको बधाई हो, वाह जी महाराज वाह
सिंधिया ने जोड़े हाथ , कहा आपका ही आशीर्वाद है
दिग्विजय सिंह (Digvijay Singh) की इस बात को सुनकर ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) मुस्कुराने लगे और हाथ जोड़ लिए, फिर उन्होंने दिग्विजय सिंह (Digvijay Singh) की तरफ देखते हुए कहा- सब आपका ही आशीर्वाद है, सिंधिया की बात पर अपनी चिर परिचित मुस्कान के साथ दिग्विजय सिंह (Digvijay Singh) ने तत्काल जवाब देते हुए कहा- आशीर्वाद हमेशा रहेगा, आप जिस पार्टी में भी रहें, आगे भी जो हो, हमारा आशीर्वाद आपके साथ था, है और रहेगा।
दोनों नेताओं के बीच कुछ क्षण की इस हंसी ठिठोली से सदन का माहौल कुछ देर के लिए हल्का हो गया. गौरतलब है कि “महाराज” ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) और “राजा साहब” दिग्विजय सिंह (Digvijay Singh) के बीच पुरानी राजनैतिक प्रतिद्वंद्विता है। जब दोनों कांग्रेस में थे तब भी एक साथ एक ही पार्टी में रहते हुए भी दोनों एक दूसरे पर तंज कसने से नहीं चूकते थे। लेकिन जब आमना सामना होता है तो शिष्टाचार भी नहीं भूलते। राज्य सभा सदस्य चुने जाने का बाद जब दोनों नेताओं की सदन में भेंट हुई थी दोनों ने झुक कर एक दूसरे के हाथ जोड़कर अभिवादन किया था।