NEET UG 2024: एनटीए ने किया अनियमितता से किया इनकार, कहा-परीक्षा समय की हानी के चलते छात्रों को मिला ग्रेस मार्क्स, देखें खबर

नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने नीट यूजी परीक्षा से संबंधित अनियमितता से इनकार किया है। एनटीए ने परीक्षा में ग्रेस मार्क्स देने की कई वजह बताई है।

Manisha Kumari Pandey
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NEET UG 2024: नीट यूजी परीक्षा के परिणाम बुधवार को नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने घोषित कर दिए हैं। 67 छात्रों ने AIR 1 रैंक प्राप्त किया है। रिजल्ट पर लोगों ने कई सवाल उठाए हैं। अभिभावक और छात्र परीक्षा को रद्द कर पुनः नीट यूजी आयोजित करने की मांग कर रहे हैं। गुरुवार को एनटीए का बड़ा बयान सामने आया है। एजेंसी ने किसी भी प्रकार के अनियमितता से इनकार किया है।

एनटीए ने जारी किया नोटिस, बताई ग्रेस अंक देने की वजह

NTA ने कहा, “एनसीईआरटी के किताबों में बदलाव किए गए हैं। कुछ कारणों के चलते परीक्षा केंद्र पर समय हानी होने के कारण छात्रों को ग्रेस मार्क्स दिया गया है। ऐसे ही कुछ कारण छात्रों के उच्च अंक के हैं।” एजेंसी ने एक ऑफिशियल नोटिफिकेशन में कहा, “एनटीए को नीट यूजी 2024 के उम्मीदवारों से 5 मई को परीक्षा के आयोजन के दौरान समय की हानि की चिंता व्यक्त करते हुए कुछ अभ्यावेदन और अदालती मामले प्राप्त हुए।”

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मूल्यांकन के लिए अपनाया गया सामान्यीकरण फॉर्मूला

नोटिस में आगे कहा गया, ऐसे मामलों पर एनटीए द्वारा विचार किया गया और सामान्यीकरण फॉर्मूला, जिसे सुप्रीम कोर्ट ने 13 जून 2018 को तैयार किया और अपनाया है, को नीट यूजी के उम्मीदवार के समय की हानी को संबोधित करने के लिए लागू किया गया था। समय के नुकसान का पता लगाया गया और ऐसे उम्मीदवारों को अनुग्रह अंकों (Grace Marks) के साथ मुआवजा दिया गया। तो अभ्यर्थी के अंक 718 या 719 हो सकते हैं।”

एनसीईआरटी के किताबों में बदलाव ग्रेस मार्क्स की बड़ी वजह

एनटीए के एक वरिष्ठ अधिकारी ने एआईआर 1 प्राप्त करने वाले छात्रों के एक वर्ग के सवालों का जवाब देते हुए कहा, “प्रश्न पत्र नई एनसीईआरटी टेक्स्टबुक्स का उपयोग करके तैयार किया गया था। हालांकि कुछ छात्रों के पास पुरानी एनसीईआरटी किताबें थीं। जहां एक ऑप्शन एनसीईआरटी की पुरानी किताब के हिसाब से सही था। तो वहीं पुरानी एनसीईआरटी की किताब से दूसरा ऑप्शन सही था। ऐसे में एनटीए ने उन सभी छात्रों को पाँच अंक दिए, जिन्होनें दो विकल्पों में से एक पर टिक लगाया था।” आगे अधिकारी ने कहा, “इस कारण 44 छात्रों के अंक 715 से बढ़कर 720 हो गए।”

 


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