नई दिल्ली, डेस्क रिपोर्ट। केंद्र सरकार (Central government) जल्द ही अपने 7th pay commission कर्मचारियों को बेहतरीन तोहफा देने की तैयारी में है। दरअसल इस वर्ष कर्मचारियों को तीन से चार बड़े लाभ मिलने के आसार नजर आ रहे हैं। इसी बीच उनके वेतन वृद्धि (salary increment) को नियंत्रित करने वाले नियमों में भी सरकार बड़े बदलाव कर सकती है। हालांकि एक तरफ जहां सरकार ने साफ किया है कि आठवां वेतन आयोग (8th pay commission) नहीं आएगा। वहीं दूसरी तरफ केंद्रीय कर्मचारियों की पदोन्नति (promotion) संबंधी नियम में बदलाव की संभावना है।
इसके लिए सरकार विभिन्न स्तरों के लिए अलग-अलग वेतन मैट्रिक्स पर भी बड़ी तैयारी में है।जिसका लाभ यह होगा कि पदोन्नति के आधार पर कर्मचारियों की वेतन वृद्धि भी बदल जाएगी। बता दे कि सातवें वेतन आयोग के तहत केंद्रीय कर्मचारियों को पदों के विभिन्न स्तरों के लिए अलग-अलग मैट्रिक्स तैयार किए गए हैं। वही वेतन मैट्रिक्स पर फिटमेंट फैक्टर के आधार पर तैयार किया जाता है। जिसकी सिफारिश होने के बाद इसे 2016 में लागू किया गया था।
वहीं आ रही अपडेट के मुताबिक सातवें वेतन आयोग के बाद कोई अन्य वेतन आयोग नहीं होगा। इसकी स्पष्ट जानकारी सरकार द्वारा दी गई है। हालांकि उन्होंने कहा है कि वेतन मैट्रिक्स पर नियंत्रण किया जा सकता है और इसमें संशोधन भी संभव है। बता दें कि नए पे मैट्रिक्स लागू होने के साथ ही कर्मचारियों की वेतन में 14 फीसद की वृद्धि दर्ज की गई थी। हालांकि अब सवाल यह है कि प्रमोशन- इंक्रीमेंट के लिए नया फार्मूला क्या होगा।
वही चर्चाओं की माने तो पदोन्नति व वेतन वृद्धि को नियंत्रित करने के नियमों में बदलाव देखने को मिल सकता है। इसके लिए सरकार आटोमेटिक वेतन संशोधन प्रणाली लागू कर सकती है। जिसमें 50% महंगाई भत्ता होने पर कर्मचारियों को पदोन्नति का भी लाभ मिल जाएगा। साथ ही कर्मचारियों के ग्रेड पे भी स्वयं ही बढ़ेंगे।
फिलहाल नए वेतन आयोग के संबंध में चर्चा पर सरकार ने विराम लगा दिया है। हालांकि नई गतिविधि 2024 के बाद शुरू होने की संभावना जताई गई है लेकिन इससे पहले आयोग केवल वेतन वृद्धि और पदोन्नति के लिए नए नियम प्रणाली पर विचार कर सकता है। वहीं नए नियम के तहत ही पदोन्नति को नियंत्रित किया जा सकता है।
इससे पहले 2016 में सातवें वेतन आयोग की सिफारिश को मंजूरी दी गई थी जिसके बाद कर्मचारियों की न्यूनतम वेतन 7000 रूपए से बढ़कर 18000 रूपए बेसिक तय किए गए थे। सातवें वेतन आयोग की सिफारिश में कहा गया था कि सरकार वेतन में संशोधन पर विचार कर सकती है। वहीं अब कर्मचारियों को वर्तमान में 34% डीए का लाभ उपलब्ध कराया जा रहा है। हालांकि माना जा रहा है कि सरकार जल्द ही दिए में 4 फीसद की वृद्धि करेगी। जिसके बाद 1 जुलाई से कर्मचारियों के डीए 38 फीसद होने की उम्मीद जताई जा रही है। सरकार सितंबर में डीए वृद्धि की घोषणा कर सकती है।