विधानसभा सत्र : कमलनाथ सरकार खोलेगी बजट का पिटारा, किसानों पर रहेगा विशेष फोकस

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भोपाल।  मध्यप्रदेश विधानसभा में आज से बजट सत्र शुरू हो गया है। पुलवामा हमले में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि देने के बाद विधानसभा की कार्रवाई स्थगित हो गई है। कमलनाथ सरकार के वित्तमंत्री तरुण भानोत लेखानुदान पेश करेंगे। सभी की निगाहें कांग्रेस सरकार के इस पहले बजट पर है। सोमवार को पेश होने वाला लेखानुदान अब 20 फरवरी को पेश किया जाएगा।  यह कमलनाथ सरकार का पहला बजट सत्र है।  लोकसभा चुनाव के मद्देनजर माना जा रहा है कि मुख्यमंत्री कमलनाथ लोकलुभावन बजट पेश कर सकते हैं। हालांकि विधानसभा सत्र में राज्य सरकार तीन महीने का बजट(लेखानुदान) पेश करेगी। वहीं, विपक्ष ने कांग्रेस सरकार को घेरने की पूरी तैयारी कर रखी है।सरकार को घेरने के लिए विपक्ष के पास मुद्दों के कमी नहीं है। विपक्ष प्रदेश की कानून व्यवस्था, किसान कर्जमाफी समेत कई मुद्दों पर सरकार को घेरेगी। 21 फरवरी तक चलने वाले इस सत्र के हंगामेदार रहने के आसार हैं।

मध्य प्रदेश के वित्तमंत्री तरुण भनोत बुधवार को अंतरिम बजट पेश करेंगे। माना जा रहा है कि कांग्रेस सरकार अगले तीन महीने के कामकाज के लिए करीब अस्सी हजार करोड़ का बजट पेश कर सकती है।इसके अलावा युवाओं और कर्मचारियों के लिए भी कुछ जरूरी प्रावधान किए जा सकते हैं। इसके साथ ही सोमवार को तीसरा अनुपूरक बजट भी पेश किया जाना है, जो करीब चार हजार करोड़ रुपए का होगा।  बजट में महिलाओं, किसानों, युवाओं पर पूरा फोकस किया गया है।खबर है कि मोदी सरकार के अंतरिम बजट को ध्यान में रखते हुए कांग्रेस ने इस बजट में कई नए वादे भी किए है। विधानसभा सत्र महज चार दिनों तक ही चलेगा। ऐसे में सत्र के हंगामेदार रहने के आसार हैं। वित्त विभाग के अधिकारियों के मुताबिक लोकसभा चुनाव की वजह से राज्य सरकार वार्षिक बजट पेश नहीं कर रही है। इस कारण लेखानुदान लाया जा रहा है। लेखानुदान से आशय ये है कि सरकार अगले कुछ महीनों के लिए बजट से पैसे उधार ले रही है, जब बजट पेश होगा तो लेखानुदान की राशि कम कर दी जाएगी। केंद्र सरकार ने भी अंतरिम बजट पेश किया है। लोकसभा चुनाव के बाद मानसून सत्र में पूर्ण बजट पेश किया जाएगा। इससे पहले वर्ष 2014 और 2009 में भी लेखानुदान आ चुका है।

बजट में शामिल हो सकती है ये बडी सौगाते

माना जा रहा है कि कांग्रेस सरकार का ये बजट किसानों पर फोकस हो सकता है। किसान ऋण माफी योजना के बाद सरकार किसानों को रियल टाइम वॉलेट देने का ऐलान भी कर सकती है। किसानों को प्रति एकड़ फसल के हिसाब से लिमिट मिल सकती हैं, ताकि किसान पैसे ना होने पर खाद बीज वॉलेट के जरिए खरीद सकें। इसके अलावा उद्योगों को बढ़ावा देने, नगरीय निकायों व उद्योग विभाग द्वारा अलग-अलग लिए जाने वाले प्रॉ���र्टी टैक्स में सरकार राहत दे सकती है, वहीं राजस्व बढ़ाने के लिए सरकार शराब के साथ विलासिता की वस्तुओं पर टैक्स को बढ़ा सकती है।इसके अलावा सरकार किसानों की कर्जमाफी, युवाओं को साल में सौ दिन का रोजगार, सामाजिक न्याय पेंशन बढ़ाने का फैसला पहले ही कर चुकी है। बजट में इन सबके लिए बड़ा प्रावधान किया जा सकता है।

इन मुद्दों पर सरकार को घेरगा विपक्ष

वही विपक्ष ने कांग्रेस सरकार को घेरने की पूरी तैयारी कर रखी है।माना जा रहा है कि पहले बजट सत्र में मुख्य विपक्षी दल भाजपा बच्चों के अपहरण, तबादला उद्योग, फसल के बोनस, कर्जमाफी, कानून व्यवस्था समेत कई मसलों पर कांग्रेस की कमलनाथ सरकार को घेरेगी।ऐसे में जबरदस्त हंगामे होने के आसार है।

इस बार लगाए गए है 727 प्रश्‍न, हंगामे के आसार 

विधानसभा अध्‍यक्ष एनपी प्रजापति ने बताया कि सत्र के लिए अब तक विधानसभा सचिवालय में कुल 727 प्रश्‍नों की सूचनाएं प्राप्‍त हुई हैं। ध्‍यानाकर्षण की 167, स्‍थगन की आठ, शून्‍यकाल की 64 सूचनाएं और तीन याचिकाएं मिली हैं।  वर्तमान विधानसभा के प्रथम बार चुने विधायकों ने 309 प्रश्‍न लगाए हैं।ऐसे में विधायक अपनी ही सरकार को घेर सकते है। चुंकी विधायकों द्वारा जन आयोग गठित न होने, 2008 से 2018 के दौरान हुए घोटालों की जांच , व्यापम, डंपर, गृह निर्माण, ई टेंडरिंग, गेहूं खरीदी, पौधारोपण घोटाले को लेकर सवाल लगाए गए है।

धारा 144  लागू

मध्यप्रदेश विधानसभा का बजट सत्र आज सोमवार से शुरू होने जा रहा है। इस चार दिवसीय सत्र के दौरान प्रदेश सरकार लोकसभा चुनाव से पहले चार महीने का बजट पेश करेगी। कलेक्टर एवं जिला मजिस्ट्रेट डॉ सुदाम खाडे ने विधानसभा सत्र के दौरान शांति एवं कानून व्यवस्था बनाए रखने के मद्देनजर दण्ड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा-144 के तहत आदेश जारी किया है, जो कि 18 फरवरी से 21 फरवरी तक विधानसभा के आसपास के क्षेत्रों में लागू रहेगा।

राहत देने वाला होगा एमपी का बजट

कमलनाथ सरकार का यह पहला बजट है।  इस बार का बजट जनता को राहत और प्रदेश को गति देने वाला होगा। बजट में किसानों और युवाओं का विशेष ध्यान रखा जाएगा, ऐसी योजनाएं पेश की जाएंगी, जिनसे निवेश का माहौल बने, ताकि बेरोजगार युवाओं को रोजगार मिल सके। उन्होंने कहा कि जनकल्याणकारी योजनाओं से समाज के निचले तबके को फायदा पहुंचाया जाएगा।

तरुण भनोट, वित्तमंत्री, मप्र


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