भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्यप्रदेश (madhya pradesh) में संक्रमण (infection) से स्थिति गंभीर बनी हुई है। मरीजों की बढ़ती संख्या के बीच में ऑक्सीजन (oxygen) की खपत और मांग भी बढ़ गई है। ऐसी स्थिति में लगातार राज्य सरकार (state government) द्वारा प्रदेश में समुचित ऑक्सीजन उपलब्ध कराने की मुहिम तेज की गई है। बावजूद इसके मध्य प्रदेश के ऑक्सीजन टैंकरों को अन्य प्रदेशों में रोका जा रहा है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (shivraj singh chauhan) ने सख्त लहजा इख्तियार किया है।
दरअसल बीते दिनों प्रदेश में ऑक्सीजन की कमी के कारण गंभीर मरीजों के दम तोड़ने के मामले बढ़ते जा रहे हैं। इस बीच सोमवार को गाजियाबाद के मोदीनगर-झांसी मार्ग पर मध्य प्रदेश (madhya pradesh) आ रहे ऑक्सीजन के टैंकर को रोक लिया गया। इस बात की जानकारी जब मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को मिली तो उन्होंने तत्काल उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (yogi adityanath) से बात की। जिसके बाद टैंकर छोड़े गए।
बता दे कि पहला मामला नहीं है। जब इस तरह की हरकतें सामने आई है। इससे पहले गुजरात में भी मध्यप्रदेश की तरफ आ रहे ऑक्सीजन टैंकर को रोका गया था। जिसके बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रुपाणी से बात की थी।
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अब ऐसी स्थिति में सीएम शिवराज सिंह चौहान ने ट्वीट कर बड़ी बात कही है। सीएम शिवराज ने कहा कि संक्रमण के विषम परिस्थिति बनी हुई है। यह संकट काल है। ऐसी स्थिति में ऑक्सीजन संजीवनी है। जबकि कुछ राज्यों के अधिकारियों द्वारा ऑक्सीजन के टैंकर रोके जा रहे हैं। जो कि अपराध और अनुचित में गिना जाएगा।
इतना ही नहीं सीएम शिवराज ने कहा कि कल मध्य प्रदेश राज्य की ऑक्सीजन टैंकर को अन्य राज्यों के अधिकारियों द्वारा रोका गया था। जिसे समय भी बर्बाद होता है और मरीजों की जान जाने का खतरा बढ़ जाता है। वहीं उन्होंने राज्य के मुख्यमंत्री से अपील की है कि ऐसे अधिकारी पर सख्त कार्रवाई करें। जो इस तरह के अपराध कर रहे हैं।
बीते दिनों मंत्रियों के साथ हुई बैठक में सीएम शिवराज ने इस बात को उठाया। मंत्री ने सुझाव दिया है कि संक्रमण बढ़ता जा रहा है। जिसके बाद इस तरह की दिक्कतें सामने आएगी। ऐसी स्थिति में केंद्रीय गृह मंत्री से बात कर इसका स्थाई समाधान निकाला जाना आवश्यक है। वही मंत्री ने सुझाव दिया है कि ऑक्सीजन के टैंकर में मध्य प्रदेश पुलिस के जवान के बजाय गृह मंत्रालय से CRPF के जवान को तैनात किया जाए। जिससे इस तरह की परिस्थिति को टाला जा सके।