Organ donation rules changed : ऑर्गन डोनेशन को प्रोत्साहित करने और इसकी प्रक्रिया को सरल करने के लिए सरकार ने नियमों में परिवर्तन किया है। ‘वन नेशन वन पॉलिसी ऑफ आर्गन डोनेशन’ के नियम लागू कर दिए गए हैं और इसके तहत ऑर्गन डोनेशन और ट्रांसप्लांटेशन आसान हो जाएगा। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने ऑर्गन डोनेशन और ट्रांसप्लांट को लेकर नियमों में बदलाव किए हैं और उम्मीद है कि इससे लोगों को काफी लाभ होगा।
नियमों में बदलाव
अब तक ऑर्गन लेने के लिए डोमिसाइल यानी स्थानीय प्रमाण पत्र की जरुरत होती थी। कोई भी व्यक्ति ऑर्गन लेने के लिए सिर्फ अपने ही राज्य में रजिस्टर करवा सकता था। लेकिन अब नए नियम लागू होने के बाद जरूरतमंद व्यक्ति किसी भी राज्य में ऑर्गन लेने के लिए रजिस्ट्रेशन करवा सकता है और वहां ट्रांसप्लांट भी करा सकता है। इसी के साथ एक सेंट्रलाइज्ड वेटिंग लिस्ट भी तैयार होगी। नियम परिवर्तन के बाद उन बुजुर्ग लोगों को काफी राहत मिलेगी जिन्हें ऑर्गन डोनेशन की जरूरत है। पहले नेशनल ऑर्गन एंड टिश्यू ट्रांसप्लांट ऑर्गनाइजेशन (NOTTO) की गाइडलाइंस के मुताबिक 65 साल से अधिक आयु के लोगों को ऑर्गन लेने पर पाबंदी थी। लेकिन अब इसे हटा लिया गया है और इसके बाद 65 से अधिक आयु के लोग भी ऑर्गन लेने के लिए रजिस्टर कर सकते हैं।
खत्म होगी फीस
अब तक कुछ राज्यों में ऑर्गन लेने के लिए रजिस्ट्रेशन के दौरान व्यक्ति से 5 हजार से लेकर 10 हजार रूपये तक फीस के रूप में देने पड़ते थे। इस फीस को भी खत्म कर दिया गया है और राज्यों को इसके बारे में बता दिया गया है। जहां अब तक ये फीस वसूली जा रही थी, उन राज्यों को तत्काल प्रभाव से इसपर रोक लगाने को कहा गया है। आंकड़ों के मुताबिक हमारे देश में साल 2013 में 4,990 ऑर्गन ट्रांसप्लांट हुए थे। 2022 तक इनकी संख्या में इजाफा होकर ये 15,561 तक पहुंच गई। लेकिन अब भी हमारे यहां ऑर्गन डोनेशन को लेकर जागरूकता की काफी कमी है और लोगों में ये विचार बहुत लोकप्रिय भी नहीं है। लोग कई कारणों से ऑर्गन डोनेशन से हिचकते हैं। इसके लिए जागरूकता लाने की अत्यंत आवश्यकता है क्योंकि ऑर्गन डोनेशन की डिमांड बहुत ज्यादा है लेकिन उतनी संख्या में ऑर्गन उपलब्ध नहीं हो पाते हैं और कई जरुरतमंद इसके अभाव में दम तक तोड़ देते हैं। इसीलिए अधिक से अधिक लोगों को ऑर्गन डोनेशन के प्रति जागरूक करने और राजी करने के लिए वृहद स्तर पर अभियान चलाए जाने की जरुरत है।