हेल्थ, डेस्क रिपोर्ट। अक्सर रात में पिज्जा, बर्गर या फिर तला भुना खाने के बाद ये टेंशन हो जाता है कि सुबह पेट साफ कैसे होगा. ऊपर से आने वाली खट्टी डकार भी ये इशारा कर ही देती हैं कि इनडाइजेशन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. अब सबका हाजमा तो इतना अच्छा होता नहीं कि रात में खाया गया भारी खाना भी आराम से पचा लें. ऐसे में अगर कोई गिल्ट डाइट का भरपूर मजा लें तो अगले दिन का टेंशन तो होना ही है. हालांकि इस टेंशन से निपटने का उपाय भी आपके घर में ही मौजूद है. कुछ घरेलू उपाय कर आप डाइजेशन को बेहतर बना सकते हैं. अगर आपको जल्दी अपच की समस्या हो जाती है तो कुछ ऐसी आदतें बना लें कि इस मुश्किल से आसानी से निपट सकें
लस्सी पिएं
अगर आपको थोड़ा भी तला भुना खाकर या रूटिन खाने से अलग कुछ खाकर अपच की शिकायत होती है तो दही की लस्सी पीने की आदत डालें. ये ध्यान रखें कि आपको मीठी गाढ़ी लस्सी नहीं पीना है. उसके बदले दही की पतली लस्सी जिसमें थोड़ा जीरा और काला नमक डला हो, ऐसी लस्सी पीना है. ये एक अच्छा बॉडी डीटॉक्स भी है. जो डाइजेशन को बेहतर बनाता है.
सौंफ खाएं
सौंफ खाने से गैस बनने की शिकायत कम होती है साथ ही इनडाइजेशन भी काफी हद तक कम होता है. रोज खाने के बाद थोड़ी सी सौंफ खाने की आदत डाल लें. धीरे धीरे अपच और कॉन्सटीपेशन दोनों की शिकायत दूर होती जाएगी.
नींबू के साथ शहद
सुबह आप अच्छे से फ्रैश न हो पा रहे हों तो हर सुबह गर्म पानी के साथ शहद और नींबू मिक्स कर के पी जाएं. इन दोनों मिश्रण दिन भर डाइजेशन को अच्छा रखता है. और हर रोज अच्छे से पेट साफ करने में मदद क रता है.
ज्यादा सलाद खाएं
वैसे तो सलाद खाना रोज ही अच्छा है. लेकिन ऐसे किसी दिन जब आप ज्यादा तला भुना खा लें या ऐसा कुछ खा लें जिससे आप जानते हैं कि अपच होगा ही. उस दिन सलाद की मात्रा बढ़ा दें. सलाद में मौजूद फाइबर्स मेटाबॉलिज्म को बेहतर बनाते हैं. जो सीधे सीधे डाइजेशन को ठीक करने में मदद करता है.
खूब खाएं फल
जिन्हें रेग्यूलर इनडाइजेशन की शिकायत रहती है उन्हें अच्छी मात्रा में फल भी खाना चाहिए. जो भी मौसमी फल उपलब्ध हो उसे खाने की आदत डालें. फलों को जूस से मेटाबॉलिक रेट ठीक रहता है और पेट को खाना पचाने में मदद मिलती है. खासतौर से पपीता जैसे फल इनडाइजेशन और कॉन्सटिपेशन जैसी समस्याओं को दूर करने में काफी कारगर हैं.