Brahma Muhurta : ब्रह्म मुहूर्त की महत्व को संस्कृति में गहराई से समझा जाता है। यह समय अध्ययन, ध्यान, आत्मविकास और साधना का माना जाता है जोकि 4 बजे से सुबह 5:30 के बीच का होता है। सूर्य के उगने से पहले उठकर ध्यान, प्रार्थना और अभ्यास करने से व्यक्ति की मानसिक और आध्यात्मिक स्थिति में सुधार होता है। इसके साथ ही उसके जीवन में सकारात्मक परिणाम दिखाई देने लगते हैं। यह समय शांति का माना जाता है। कहते हैं सभी देवी-देवता ब्रह्म मुहूर्त में पृथ्वी में आते। इस समय पढ़ाई करने वालों के दिमाग में काफी समय तक वह बात याद रहती है।
हालांकि, आजकल लोगों की जीवनशैली बदल चुकी है। लोग रात में लेट से सोते हैं और सुबह देर से जागते हैं। जिस कारण वह अपने जीवन में उन्नति नहीं कर पाते, लेकिन ब्रह्म मुहूर्त में उठकर अपने कार्य को पूरा करने वाले लोग अवश्य सफल होते हैं। इस समय मन शांत रहता है। साथ ही माता लक्ष्मी के आगमन के लिए भी अशुभ समय माना जाता है। हिंदू धर्म में ब्रह्म मुहूर्त को दिन का सबसे शुभ समय माना जाता है। इस दौरान कोई भी कार्य करने से दवाई कृपा प्राप्त होती है। तो चलिए आज के आर्टिकल में हम आपको इस समय में उठकर उन कार्यों को करने के बारे में बताएंगे, जिससे आपके सारे कष्ट दूर हो जाएंगे।
करें ये काम
- सनातन धर्म में सुबह उठकर यानी ब्रह्म मुहूर्त में स्नान करने से आपके जीवन में तरक्की के योग बनते हैं। इसके साथ ही आपको अपने इष्ट देवता की पूजा करनी चाहिए, जिससे जीवन में सारे बिगड़े काम आसानी से बन जाते हैं।
- ब्रह्म मुहूर्त में साधकों द्वारा पूजा-पाठ, ध्यान, मंत्र जाप, हवन, आदि करने से वह इंसान हर कार्य में सफलता प्राप्त करता है। इससे उन्हें दोगुना फल मिलता है। उसके सारे कष्ट भगवान हर लेते हैं और वह सुखी इंसान बन जाता है।
- सामवेद में ब्रह्म मुहूर्त को लेकर यह वर्णन किया गया है कि इस दौरान भगवान सूर्य देव की पूजा करने से घर में सकारात्मक ऊर्जा प्रवेश करती है। इसके साथ ही माता लक्ष्मी का आगमन होता है, जिससे आपके सुख और समृद्धि में सुधार आता है। स्वास्थ्य संबंधी सारी समस्याएं भी खत्म हो जाती है।
- ब्रह्म मुहूर्त के समय इंसान को हमेशा अच्छी बातें करनी चाहिए। कहते हैं इस दौरान माता सरस्वती आपकी जुबान पर विराजमान होती हैं और आपके द्वारा बोली गई कोई भी बात बहुत जल्दी सच हो सकती है। इसके अलावा, उन्हें ज्ञान की देवी भी कहा जाता है इसलिए छात्रों को इस समय में पढ़ने की सलाह दी जाती है।
- ब्रह्म मुहूर्त को लेकर ऋग्वेद में विस्तार पूर्वक वर्णन किया गया है कि इस समय में उठकर व्यायाम, योग या ध्यान करने वाला हर एक व्यक्ति निरोग रहता है। इसके साथ ही उसे दीर्घायु का वरदान भी प्राप्त होता है। वह जल्दी बीमार नहीं पड़ता। साथ ही उसे मानसिक रूप से शांति भी मिलती है।
(Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। MP Breaking News किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।)