Planting Tips: घर पर ही उगाना चाहते हैं बेलपत्र का पौधा, जानें ये आसान तरीका

Planting Tips: बेलपत्र का पौधा न केवल धार्मिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह एक औषधीय पौधा भी है। इसे घर पर उगाना बेहद आसान है। आइए जानते हैं कैसे।

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Planting Tips: सावन के महीने में शिव जी की पूजा के लिए बेलपत्र का विशेष महत्व होता है। इसे लगाने से न केवल आपके घर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है बल्कि आयुर्वेदिक गुणों से भरपूर यह पौधा कई रोगों के उपचार में भी सहायक होता है। घर के बगीचे में बेलपत्र का पौधा लगाकर आप प्रकृति के करीब आ सकते हैं और अपने आंगन को सुंदर बना सकते हैं। इस लेख में हम आपको आसान तरीके से बताएंगे कि आप अपने घर के बगीचे में बेलपत्र का पौधा कैसे लगा सकते हैं और इसकी देखभाल कैसे कर सकते हैं।

इस आसान तरीके से उगाएं बेलपत्र का पौधा

आवश्यक सामग्री

बेलपत्र का पौधा या बीज
गमला
मिट्टी
खाद
कंकड़
पानी का छिड़काव करने वाला यंत्र

पौधा लगाने का तरीका

1. गमले के निचले हिस्से में कुछ कंकड़ डालें ताकि अतिरिक्त पानी निकल सके।
2. गमले को मिट्टी और गोबर की खाद या कम्पोस्ट के मिश्रण से आधा भरें।
3. मिट्टी में एक गड्ढा बनाएं और पौधे की जड़ को उसमें ध्यान से रखें।
4. पौधे के चारों ओर मिट्टी से ढक दें और हल्के हाथ से दबा दें।
5. यदि आप बीज से पौधा उगा रहे हैं, तो बीज को मिट्टी में 1-2 इंच की गहराई तक दबाएं और हल्के से दबा दें।
6. पौधा लगाने के तुरंत बाद पानी दें। मिट्टी को हमेशा नम रखें, लेकिन पानी भरा न होने दें।

बेलपत्र के पौधे की देखभाल के लिए सुझाव

 

  • बेलपत्र के पौधे को नियमित रूप से पानी देना चाहिए, खासकर गर्मियों के मौसम में। मिट्टी को हमेशा थोड़ी नम रखें, लेकिन पानी भरा न होने दें। पौधे को सुबह या शाम के समय पानी दें ताकि पानी सूर्य की किरणों से वाष्पित न हो।
  • बेलपत्र के पौधे के लिए जैविक खाद सबसे अच्छी होती है। आप गोबर की खाद या केंचुआ खाद का उपयोग कर सकते हैं। महीने में एक बार खाद दें।जैसे-जैसे पौधा बढ़ता है, उसे बड़े गमले में बदलते रहें।सुनिश्चित करें कि गमले में पौधे की जड़ों के लिए पर्याप्त जगह हो।
  • यदि पत्ते पीले पड़ रहे हैं, तो हो सकता है कि पौधे को अधिक पानी मिल रहा हो या कम धूप मिल रही हो। यदि पौधे पर कोई कीड़ा लग जाए तो तुरंत उपचार करें। नीम का तेल एक अच्छा विकल्प है।
  • समय-समय पर पौधे की सूखी या क्षतिग्रस्त शाखाओं को काटें। छंटाई करने से पौधा आकार में अच्छा लगता है और उसकी वृद्धि भी अच्छी होती है।

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भावना चौबे

भावना चौबे

इस रंगीन दुनिया में खबरों का अपना अलग ही रंग होता है। यह रंग इतना चमकदार होता है कि सभी की आंखें खोल देता है। यह कहना बिल्कुल गलत नहीं होगा कि कलम में बहुत ताकत होती है। इसी ताकत को बरकरार रखने के लिए मैं हर रोज पत्रकारिता के नए-नए पहलुओं को समझती और सीखती हूं। मैंने श्री वैष्णव इंस्टिट्यूट ऑफ़ जर्नलिज्म एंड मास कम्युनिकेशन इंदौर से बीए स्नातक किया है। अपनी रुचि को आगे बढ़ाते हुए, मैं अब DAVV यूनिवर्सिटी में इसी विषय में स्नातकोत्तर कर रही हूं। पत्रकारिता का यह सफर अभी शुरू हुआ है, लेकिन मैं इसमें आगे बढ़ने के लिए उत्सुक हूं।मुझे कंटेंट राइटिंग, कॉपी राइटिंग और वॉइस ओवर का अच्छा ज्ञान है। मुझे मनोरंजन, जीवनशैली और धर्म जैसे विषयों पर लिखना अच्छा लगता है। मेरा मानना है कि पत्रकारिता समाज का दर्पण है। यह समाज को सच दिखाने और लोगों को जागरूक करने का एक महत्वपूर्ण माध्यम है। मैं अपनी लेखनी के माध्यम से समाज में सकारात्मक बदलाव लाने का प्रयास करूंगी।

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