वॉकिंग या ट्रेडमिल, जानें क्या है आपकी सेहत के लिए ज्यादा बेहतर? आजमाने से पहले जान लें जरूरी बातें

Walking or treadmill: आउटडोर वॉक और ट्रेडमिल दोनों ही व्यायाम करने के अच्छे तरीके हैं। दोनों के अपने-अपने फायदे और नुकसान हैं। आपकी सेहत के लिए कौन सा विकल्प बेहतर है, यह आपके लक्ष्यों और प्राथमिकताओं पर निर्भर करता है।

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Walking or treadmill: आजकल की इस भागदौड़ वाली जिंदगी में अपने आप को फिट और स्वस्थ रखना सबसे बड़ी चुनौती है। सिटिंग वर्क होने की वजह से लोगों को कई प्रकार की परेशानियों का सामना करना पड़ता है। काम में व्यस्त रहने के चलते लोगों के पास खुद के लिए ज्यादा समय भी नहीं होता है। लेकिन ऐसे में खुद का ख्याल रखना तो जरूरी है ही, इसलिए कुछ लोग फिट रहने के लिए वॉक करना पसंद करते हैं तो वहीं कुछ लोग जिम जाकर ट्रेडमिल करना पसंद करते हैं। यह दोनों ही फिजिकल एक्टिविटी काफी अलग है, इन दोनों के अपने-अपने फायदे और नुकसान है।

अक्सर लोगों के मन में यह सवाल पैदा होता है कि आखिर फिट रहने के लिए क्या ज्यादा फायदेमंद होता है वॉक या फिर ट्रेडमिल। इन दोनों की तुलना करना हमारी सेहत पर निर्भर करता है। हर व्यक्ति की सेहत अलग-अलग होती है, इन दोनों ही फिजिकल एक्टिविटी को लोग अपनी-अपनी सहूलियत के हिसाब से आजमाते हैं। इसी के चलते आज हम आपका यह कंफ्यूजन दूर करने वाले हैं कि आखिर जिम या घर पर ट्रेडमिल पर चलना ज्यादा फायदेमंद होता है या फिर बाहर खुले में चलना ज्यादा फायदेमंद होता है, तो चलिए जानते हैं।

ट्रेडमिल और आउटडोर वॉक दोनों में क्या है अंतर

ट्रेडमिल और आउटडोर वॉक दोनों ही फिजिकल एक्टिविटी है। जिसे लोग फिट और स्वस्थ रहने के लिए आजमाते हैं। इन दोनों में काफी अंतर है, ट्रेडमिल और आउटडोर वॉक के अपने-अपने फायदे और नुकसान है। बाहर खुले आसमान के नीचे वॉक करने से शरीर पर हवा का दबाव पड़ता है जो कि शरीर और मस्तिष्क के लिए एक बहुत ही अच्छा और सरल व्यायाम माना जाता है। वहीं, ट्रेडमिल पर दौड़ना एक प्रकार से चार दिवार के अंदर दौड़ना माना जाता है, ट्रेडमिल का इस्तेमाल लोग घर या फिर जिम में करते हैं। इसका इस्तेमाल करने से बाहर की हवा शरीर में नहीं लग पाती है। ट्रेडमिल पर दौड़ने के लिए आपको पैसे खर्च करना पड़ता है, अगर आप ट्रेडमिल खरीदना या फिर जिम की फीस भरना अफोर्ड नहीं करते हैं तो ऐसे में खुले आसमान के नीचे वॉक करना ज्यादा फायदेमंद माना जाता है।

आउटडोर वॉक के क्या फायदे और नुकसान है

फायदे

आउटडोर वॉक करने से ताजी हवा धूप और प्रकृति के दृश्यों का आनंद लिया जा सकता है। आउटडोर वॉक में किसी प्रकार का कोई नियंत्रण नहीं रहता है आप जिस रास्ते पर, जिस मैदान पर चलना चाहे आप वहां चल सकते हैं। आउटडोर वॉक करने से मन शांत रहता है तनाव और चिंता कम करने में मदद मिलती है।

नुकसान

आउटडोर वॉक करने का सबसे बड़ा नुकसान यह है की मौसम के बदलाव के कारण आप बाहर टहलने नहीं जा सकते। आउटडोर वर्क के लिए आपको ज्यादा समय की भी जरूरत होती है, क्योंकि आप इसके लिए घर से बाहर या दूर जाएंगे जिसमें ज्यादा समय लग सकता है। इसमें सुरक्षा का भी बेहद ध्यान रखना होता है क्योंकि आप बाहर जाते हैं आप अकेले रहते हैं इसलिए सुरक्षा का विशेष ध्यान रखना होता है।

ट्रेडमिल के फायदे और नुकसान

फायदे

ट्रेडमिल से कई सुविधाओं का लाभ उठाया जा सकता है, ट्रेडमिल का उपयोग आप घर या फिर जिम में आसानी से कर सकते हैं। इसका उपयोग करने के लिए मौसम की परवाह नहीं की जाती है। घर के अंदर ही व्यायाम करने से आप सुरक्षित रह सकते हैं। ट्रेडमिल पर एक्सरसाइज करने के दौरान आप तेज आवाज में गाने सुन सकते हैं।

नुकसान

चार दिवारी के अंदर एक्सरसाइज करने और एक ही जगह पर चलने से आप ऊब सकते हैं। ताजी हवा धूप और प्रकृति के दृश्यों का आनंद नहीं ले सकते। इसमें आउटडोर वॉक की तुलना में कम कैलोरी बर्न होती है।

कौनसा चयन करें

आपका चयन आपकी आवश्यकताओं और लक्ष्यों पर निर्भर करेगा। वॉकिंग आमतौर पर सरलता और सुरक्षा के साथ जुड़ी होती है, जबकि ट्रेडमिल आपको अधिक नियंत्रण और कस्टमाइजेशन प्रदान कर सकती है। यदि आप स्वस्थ रहना चाहते हैं और आपके लिए आमतौर पर हाई इंटेंसिटी वर्कआउट की आवश्यकता नहीं है, तो वॉकिंग एक अच्छा ऑप्शन हो सकता है। यदि आप वजन कम करना या मानसिक रूप से फिट रहना चाहते हैं, तो ट्रेडमिल आपको बेहतर सुविधा प्रदान कर सकती है।

Disclaimer- यहां दी गई सूचना सामान्य जानकारी के आधार पर बताई गई है। इनके सत्य और सटीक होने का दावा MP Breaking News नहीं करता।


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भावना चौबे

भावना चौबे

इस रंगीन दुनिया में खबरों का अपना अलग ही रंग होता है। यह रंग इतना चमकदार होता है कि सभी की आंखें खोल देता है। यह कहना बिल्कुल गलत नहीं होगा कि कलम में बहुत ताकत होती है। इसी ताकत को बरकरार रखने के लिए मैं हर रोज पत्रकारिता के नए-नए पहलुओं को समझती और सीखती हूं। मैंने श्री वैष्णव इंस्टिट्यूट ऑफ़ जर्नलिज्म एंड मास कम्युनिकेशन इंदौर से बीए स्नातक किया है। अपनी रुचि को आगे बढ़ाते हुए, मैं अब DAVV यूनिवर्सिटी में इसी विषय में स्नातकोत्तर कर रही हूं। पत्रकारिता का यह सफर अभी शुरू हुआ है, लेकिन मैं इसमें आगे बढ़ने के लिए उत्सुक हूं। मुझे कंटेंट राइटिंग, कॉपी राइटिंग और वॉइस ओवर का अच्छा ज्ञान है। मुझे मनोरंजन, जीवनशैली और धर्म जैसे विषयों पर लिखना अच्छा लगता है। मेरा मानना है कि पत्रकारिता समाज का दर्पण है। यह समाज को सच दिखाने और लोगों को जागरूक करने का एक महत्वपूर्ण माध्यम है। मैं अपनी लेखनी के माध्यम से समाज में सकारात्मक बदलाव लाने का प्रयास करूंगी।

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