भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। भगवान के आशीर्वाद से साधु संतों के दरबार तो अक्सर चर्चा में रहते हैं। वहा भक्त आते हैं, अर्जी लगती है, समस्या का समाधान होने की खबरें भी आती है लेकिन हम बात कर रहे हैं मध्य प्रदेश के छोटे मामा, किसान नेता एवं कृषि मंत्री कमल पटेल के मानवीय दरबार की 24× 7 मोबाइल पर ऑनलाइन उपलब्ध रहना, प्रदेश, क्षेत्र की दुखहारी जनता का चाहे। वह हरदा की हो या भोपाल की सब जगह मानवता के नाते निराकार सत्ता से साकार सत्ता में मंत्री का दायित्व और प्रजा की देखभाल का गुण पटेल के दरबार में देखने को मिलता है। सड़क पर व्यक्ति हो या जानवर, संकट में है तो अपना काफिला रोक कर तुरंत एक्शन मोड पर आकर जीवन को बचाने के लिए भरसक प्रयास करते हैं।
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रक्षाबंधन पर्व के पूर्व श्रावण मास के जाने के पूर्व यानी कि सेकंड डे बुधवार के दिन एक हैरान-परेशान, आर्थिक परिस्थितियों से टूटा परिवार मंत्री पटेल के भोपाल बंगले B-10 चार इमली पर पहुंचता है। ईश्वरीय विडंबना यह देखिए कि पति पत्नी दोनों ही दृष्टिबाधित हैं और उनसे उत्पन्न पुत्री भी दृष्टि बाधित होने के साथ मस्तिष्क का पूर्ण विकास न होने के कारण बाल्यावस्था में ही संसार के सुख को देखने में अभी कमजोर है। शाम की गोधूलि बेला में पूजा सराफ, मंत्री पटेल को राखी बांधती है और रिश्ता हो जाता भाई- बहन का और फिर बात होती है भांजी सिद्धि की। जो खड़े होने से लेकर संसार को ठीक से समझने के लिए जरूरी चिकित्सा की बाट जो रही है। मंत्री पटेल तब तपाक से कहते हैं कि भांजी के सारे इलाज का खर्चा बहन, आपका भाई उठाएगा। चिंता ना करें।