शराब की दुकानें हटाने की जरूरत नहीं समझती कमलनाथ सरकार

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भोपाल। मध्य प्रदेश में शराब दुकानों को लेकर काफी धरने प्रदर्शन होते रहे हैं। शराब को सामाजिक बुराई समझा जाता रहा है। खासतौर से ग्रामीण इलाकों में शराब एक तरह से बड़ी समस्या बनी है। नई सरकार भी पूर्व सरकार की तरह उस स्थान को आपत्ति रहित मानती है जहां शराब की दुकाने हैं।  न ही सरकार उन दुकानों को हटाने की जरूरत समझती है। बीजेपी विधायक कृष्णा गौर ने विधानसभा में यह सवाल किया था। जिसका लिखित जवाब वाणिज्य कर मंत्री बृजेंद्र सिंह राठौर ने दिया है।

 दरअसल, कृष्णा गौर गोविंदपुरा विधानसभा से विधायक हैं। उनके क्षेत्र में रत्नागिरी इलाका आता है। पिछले साल यहां स्थानीय रहवासियों ने अटल बिहारी वाजपेयी सब्जी मंत्री के पास संचालित देशी व विदेशी शराब दुकान को हटाने के लिए लोगों ने जमकर हंगामा किया था। अप्रैल 2018 में स्थानीय लोगों ने धरना प्रदर्शन भी किया था। नागरिकों ने इस दुकान को हटाने की मांग की थी। लेकिन आबकारी विभाग के नियमों में यह जगह आपत्तिरहित स्थान में आती है। इस कारण दुकान को नहीं हटाया गया। चाहे धरना हो या प्रदर्शन|

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