बीजेपी (BJP Madhya Pradesh) को नुकसान का सबसे बड़ा कारण बागियों का रहा। टिकट न मिलने से नाराज बीजेपी के बागियों ने तीसरे मोर्चे के रूप में तरंगिणी सेना ने किया। तरंगिणी सेना में15 में से 11 वार्ड में अपने प्रत्याशियों को उतारा था, इसमें तीन विजयी हुए। बीजेपी के लिए पूर्व मंत्री दीपक जोशी एवं पूर्व विधायक राजेंद्र वर्मा पूरे समय मैदान में थे। दोनों नेता डेमेज कंट्रोल करने में असमर्थ रहे इसी का परिणाम बीजेपी को इस चुनाव में देखने को मिला।
बघेल के बेटा बहू दोनों जीते
सोनकच्छ नगर में शुरू से ही बघेल परिवार का वर्चस्व रहा है। इसके पूर्व भी स्व.ठाकुर राजेंद्र सिंह बघेल के पुत्र राजवीर सिंह बघेल 2 बार नप अध्यक्ष रह चुके हैं। इस बार भी वार्ड 7 से स्व.बघेल के छोटे पुत्र कृष्णपाल सिंह बघेल एव.वार्ड 11 से उनकी बहू श्रुति कृष्णपाल सिंह बघेल ने कांग्रेस (MP Congress) के टिकट से चुनाव जीता। सोनकच्छ में अध्यक्ष का पद अनारक्षित महिला होने के कारण अब श्रुति कृष्णपाल सिंह बघेल प्रबल दावेदार होंगी। यदि कांग्रेस को निर्दलीय का समर्थन मिलता है तो आसानी से परिषद बनेगी। लेकिन बीजेपी अपने बागी व निर्दलीय का समर्थन जुटाने में सफल होती है तो बाजी पलट सकती है।
यह है विजेताओं की सूची
बीजेपी – 4
कांग्रेस – 5
तरंगिणी सेना – 3
निर्दलीय – 3
वार्ड नं – 1 – सीताराम खेलवाल (बीजेपी)
वार्ड नं – 2 – निरंजन सिंह सेंगर (बीजेपी)
वार्ड नं -3 – ओमप्रकाश परमार (कांग्रेस)
वार्ड नं -4 – दीपशिखा यादव (बीजेपी)
वार्ड नं -5 – संदीप गुप्ता (निर्दलीय)
वार्ड नं -6 – रत्ना पांचाल(बीजेपी)
वार्ड नं -7 – कृष्णपाल सिंह बघेल ( कांग्रेस)
वार्ड नं -8 – शहनाज बी (कांग्रेस)
वार्ड न- 9 – प्रिया अग्रवाल (निर्दलीय)
वार्ड नं -10 – शब्बीर कुरैशी (निर्दलीय)
वार्ड नं- 11 श्रुति कृष्णपाल सिंह ( कांग्रेस)
वार्ड न -12- महेश यादव (निर्दलीय)
वार्ड नं 13 – ललिता अर्जुन राजपूत (निर्दलीय)
वार्ड नं 14 कालूराम मालवीय (निर्दलीय)
वार्ड नं 15 – विनोद (वीनू ) चौधरी(कांग्रेस)