पुलिस थाने में ताश खेल रहे थे पुलिसकर्मी, पहुंच गए एसपी साहब, फिर हुआ ये

Atul Saxena
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Guna News : देश भक्ति और जनसेवा की शपथ लेने वाले पुलिसकर्मी कभी कभी कैसी जनसेवा करते हैं ये जानकर आप हैरान रह जायेंगे,  मामला तो तब खुला जब कप्तान साहब पहुंच गए, बड़ी बात ये है कि अपनी ड्यूटी निभाने में समर्पित पुलिसकर्मी अपने कप्तान साहब को ही नहीं पहचान पाए, बाद में एसपी साहब ने पुलिसकर्मियों को लाइन अटैच कर दिया।

सादा वर्दी में पहुंचे एसपी को दिखाया पुलिसिया रौब  

गुना जिले में पिछले दिनों हुए बाद हादसे के बाद एसपी विजय खत्री के तबादले के बाद पदस्थ हुए संजीव कुमार सिन्हा थानों की हकीकत जानने के लिए कल निकले थे, वे कैंट थाने पहुँच गए, उन्हें वहां तिन पुलिस कर्मी ताश खेलते मिले, पूछताछ करने पर पहले तो कर्मचारियों ने अपना पुलिसिया अंदाज दिखाया लेकिन जब उन्हें पता चला कि पूछताछ करने वाला उनके महकमे का बॉस यानि कप्तान साहब है यानि एसपी साहब हैं तो उनके होश उड़ गए।

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एसपी ने लगाई फटकार, लाइन अटैच किया 

दरअसल एसपी साहब नए थे और सिविल ड्रेस में ही थाने पहुंचे थे, इसलिए उन्हें पहचानना पुलिसकर्मियों के संभव नहीं था, एसपी संजीव कुमार सिन्हा ने तीनों पुलिसकर्मियों प्रधान आरक्षक कृष्णपाल सिंह रघुवंशी, आरक्षक गोविन्द रघुवंशी और आरक्षक राहुल सुरोसे को फटकार लगाई और सख्त एक्शन लेते हुए तीनों को तत्काल प्रभाव से लाइन अटैच कर दिया , एसपी ने सीएसपी गुना को प्रारंभिक जांच के आदेश दे दिए और निर्देश दिए कि ड्यूटी पर किसी भी तरह की लापरवाही स्वीकार नहीं होगी ।


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पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ....पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....

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