प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना: किसानों के लिए जरूरी खबर, जारी है रबी फसलों का बीमा, 10 जनवरी है अंतिम तारीख

प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में पटवारी हल्का स्तर पर गेहूं, सरसों व चना फसलों को अधिसूचित किया गया है। किसानों के लिए रबी मौसम में प्रीमियम दर अनाज, तिलहन, दलहन सभी फसलों के लिए बीमित राशि का 1.5% प्रतिशत या वास्तविक दर जो भी कम हो, वह मान्य होगी।

Atul Saxena
Published on -

Pradhan Mantri Fasal Bima Yojana: किसानों के लिए ये खबर जरूरी और महत्वपूर्ण है, सरकार ने कोसनों को को प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के तहत रबी फसल का बीमा कराने का एक और सुनहरा मौका दिया है। बीमा प्अरक्बरिया अभी जारी है,  किसान भाई 10 जनवरी तक अपनी फसल का बीमा करा सकते हैं। पहले इसके लिये 31 दिसम्बर अंतिम तिथि निर्धारित थी।

उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में पटवारी हल्का स्तर पर गेहूं, सरसों व चना फसलों को अधिसूचित किया गया है। किसानों के लिए रबी मौसम में प्रीमियम दर अनाज, तिलहन, दलहन सभी फसलों के लिए बीमित राशि का 1.5% प्रतिशत या वास्तविक दर जो भी कम हो, वह मान्य होगी।

फसलों के हिसाब से मात्र इतनी देनी होगी राशि 

उप संचालक कृषि ग्वालियर आर एस शाक्यवार ने बताया कि सरसों की फसल का बीमा कराने के लिये प्रति हेक्टेयर बीमाधन राशि 31 हजार 460 रुपये निर्धारित है। इसका बीमा कराने के लिये 1.5 प्रतिशत राशि अर्थात 471.9 रुपये देने होंगे। इसी तरह गेहूं – सिंचित फसल की बीमाधन राशि प्रति हेक्टेयर 37 हजार 290 रुपये है, जिसकी 1.5 प्रतिशत बीमाकंन राशि 559.35 रुपये रखी गई है। गेहूं असिंचित फसल की प्रति हेक्टेयर बीमाधन राशि 25 हजार रुपये और 1.5 प्रतिशत बीमाकन राशि 375 रुपये निर्धारित है। चना फसल की प्रति हेक्टेयर बीमाधन राशि 34 हजार रुपये है, जिसकी 1.5 प्रतिशत बीमाकंन राशि 510 रुपये बनती है।

किसान यहाँ से करा सकते हैं फसल का बीमा

अऋणी कृषक (जिन किसानों पर कोई लोन ना हो) अपनी फसलों का बीमा अपनी नजदीकी बैंक शाखा जहाँ कृषक का बैंक खाता है वहाँ पर करा सकते हैं। इसके अलावा नजदीकी सी. एस. सी सेन्टर व ए आई सी के प्रतिनिधि द्वारा भी बीमा  कराया जा सकता है। साथ ही क्रॉप इंश्योरेंस एप, फसल बीमा पोर्टल से भी कर सकते हैं। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के अंतर्गत, किसान प्राकृतिक या स्थानीय आपदाओं कीट पतंग इत्यादि से फसलों को होने वाले नुकसान के लिए बीमा का लाभ उठा सकते हैं। अधिक जानकारी प्राप्त करने के लिए नजदीकी कृषि विभाग के कार्यकाल, स्थानीय बैंक, ए आई सी प्रतिनिधि या जन सेवा केंद्र से संपर्क किया जा सकता है।


About Author
Atul Saxena

Atul Saxena

पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ....पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....

Other Latest News