इंदौर में शराब की नई दुकान खुलने पर हुआ अनोखा विरोध, महिलाओं ने उठाई लाठी, जमकर लगाए नारें

Manisha Kumari Pandey
Published on -

इंदौर, स्पेशल डेस्क रिपोर्ट। एक तरफ जहां पूरे देश में नई शराब नीति का विरोध किया जा रहा है। वहीं दूसरी तरफ मध्यप्रदेश के इंदौर (Indore) के जिंसी हाट बाजार में भी नई शराब दुकान खुलने का विरोध महिलाओं ने जमकर किया। विरोध प्रदर्शन के दौरान महिलाओं ने हाथों में लाठी और डंडे को हाथ में लेकर दुकान बंद करवाने की मांग की। इस दौरान बच्चों से लेकर बुजुर्ग महिला ने भी जमकर विरोध किया। नई शराब दुकान खुलने का विरोध कर रहे लोगों का मानना है कि अगर शराब व्यापारी दुकान खोलने की जिद पर अड़े रहे तो उन्हें महिलाएं डंडे से सबक सिखायेंगी। मिली जानकारी के मुताबिक इसके पहले शराब दुकान मिस्त्री खाने मे संचालित हो रही थी, जिसे अब जिन्सी क्षेत्र में लाया जा रहा है, जिसके कारण आसपास रहने वाले वाले लोगों का गुस्सा सातवें आसमान पर पहुँच चुका है।

यह भी पढ़े… विकास की राह पर MP, 13 रेलवे स्टेशनों को एयरपोर्ट की तर्ज पर किया जाएगा विकसित, मांगा प्रस्ताव

कि इंदौर का जिंसी हॉट बाजार क्षेत्र रहवासियों का सघन इलाका है जहां नई शराब कलाली खुल रही है। शायद इसी वजह है कि विरोधस्वरूप मंगलवार को बड़ी संख्या में क्षेत्र की महिलाएं विरोध करने पहुंची और अनूठे तरीके से विरोध का रुख अख्तियार कर एक स्वर में नारेबाजी भी की। हाथों में डंडे लिए बुजुर्ग, महिलाएं और बच्चों द्वारा पुरजोर विरोध किया जा रहा है। महिलाओं के मुताबिक नई शराब दुकान के आसपास मंदिर, मस्जिद और रहवासियों से भरा क्षेत्र है और ऐसी जगह शराब दुकान खुलेगी तो यहां पर महिलाएं, बहू और बेटियां असुरक्षित रहेगी और क्षेत्र के रहवासी शांति से घूम नहीं पाएंगे।


About Author
Manisha Kumari Pandey

Manisha Kumari Pandey

पत्रकारिता जनकल्याण का माध्यम है। एक पत्रकार का काम नई जानकारी को उजागर करना और उस जानकारी को एक संदर्भ में रखना है। ताकि उस जानकारी का इस्तेमाल मानव की स्थिति को सुधारने में हो सकें। देश और दुनिया धीरे–धीरे बदल रही है। आधुनिक जनसंपर्क का विस्तार भी हो रहा है। लेकिन एक पत्रकार का किरदार वैसा ही जैसे आजादी के पहले था। समाज के मुद्दों को समाज तक पहुंचाना। स्वयं के लाभ को न देख सेवा को प्राथमिकता देना यही पत्रकारिता है। अच्छी पत्रकारिता बेहतर दुनिया बनाने की क्षमता रखती है। इसलिए भारतीय संविधान में पत्रकारिता को चौथा स्तंभ बताया गया है। हेनरी ल्यूस ने कहा है, " प्रकाशन एक व्यवसाय है, लेकिन पत्रकारिता कभी व्यवसाय नहीं थी और आज भी नहीं है और न ही यह कोई पेशा है।" पत्रकारिता समाजसेवा है और मुझे गर्व है कि "मैं एक पत्रकार हूं।"