जबलपुर।
तत्कालीन मुख्य कार्यपालन अधिकारी सविता कामले अगस्त 2016 को जनपद पंचायत पाटन में पांच हजार की रिश्वत लेते रंगे हाथों लोकायुक्त टीम के हाथों गिरफ्तार हुई थी। इस प्रकरण में शिकायतकर्ता भैयाजी पटेल ने 2 अगस्त 2016 को लोकायुक्त कार्यालय जाकर लिखित में शिकायत की थी। इस प्रकरण में विशेष न्यायाधीश लोकायुक्त ने सुनवाई करते हुए सविता कामले को 4 साल की सजा सुनाई हैं साथ ही 6 माह की सजा भी सुनाई है।
उन्होंने अपनी तहरीर में बताया था कि वह ग्राम पंचायत पोड़ी में सचिव के पद पर पदस्थ था। उस समय पंच परमेश्वर योजना के पांचवे चरण में सीमेंट क्रांक्रीट सड़क में मनरेगा की राशि आहरित न करने पर भी मनरेगा की राशि फर्जी रूप से आहरित करने का प्रकरण बनाकर एसडीएम के सामने से वसूली हेतु भेज दिया गया। बाद मे इस प्रकरण को निपटाने के लिए सीईओ ने रिश्वत की मांग की और कहा कि ग्राम पंचायत गुरुपिपरिया में भी पंच परमेश्वर योजना सातवें चरण में सीमेंट क्रांक्रीट सड़क बनाई है।
उसका भी कमीशन नहीं दिया दोनो प्रकरण का मिलाकर 5000 की रिश्वत की मांग की सविता कामले द्वारा मांगी गई।सचिव की शिकायत पर सविता कामले को 5000 की रिश्वत लेते उनके कार्यालय में 3 अगस्त2016 को पकड़ा गया।सावित कामले द्वारा प्रार्थी से रिश्वत की राशि लेकर अपने मेज की दराज में रख दिया था जहाँ से राशि बरामद की गई थी।