जबलपुर। जबलपुर के रामपुर-नयागांव में बीते कई दिनों से तेंदुए की आहट से स्थानीय लोग दहशत में है आलम ये है कि लोग शाम होते ही अपने अपने घरों में दुबक जाते है।इधर जबलपुर वन विभाग की टीम ने कान्हा से एक विशेषज्ञ टीम भी तेंदुए को पकड़ने बुलाई इतना ही नही बकायदा पिंजरे भी लगाए गए पर मेहनत काम नही आई।ऐसे में अब कान्हा से आए एक्सपर्ट और रेस्क्यू टीम वापस लौट गई है।इस बीच तरह-तरह की बातें सामने आ रही हैं, लेकिन एक बात जो तय है कि तेंदुआ पकड़ने के लिए जो पिंजरे लगाए गए थे, वे खाली हैं…पहाड़ी पर तेंदुआ बना हुआ है, लोगों में असुरक्षा और दहशत बनी हुई है।जानकारी के मुताबिक कान्हा नेशनल पार्क से आई टीम को जबलपुर वन मंडल द्वारा सहयोग नहीं मिल रहा था लिहाजा कान्हा से आई टीम को रेस्क्यू में परेशानी आ रही थी। इसके साथ ही जो पिंजरे लगाए गए थे, उनमें से एक भी काम नहीं कर रहे थे, जिन्हें दुरुस्त कराने के लिए कान्हा से आई टीम ने कहा था पर लेकिन पिंजरों को सुधरवाया नहीं गया।यही वजह है कि टीम वापस कान्हा के लिए लौट गई।
हम आपको बता दे कि ठाकुर ताल के पास जहां पिंजरा लगाया गया था, उसके आसपास तेंदुए के पैरों के निशान मिले थे। इसके साथ ही जलपरी और गणेश मंदिर के पीछे भी जंगल में तेंदुए के पग मार्क दिखे। बताया ये भी जा रहा है कि तेंदुए की संख्या दो या तीन भी हो सकती है, क्योंकि अलग-अलग स्थानों पर पैरों के निशान मिल रहे हैं, लेकिन वन अधिकारियों का कहना है कि अभी संख्या बता पाना मुश्किल है।