Unified Pension Scheme : महाराष्ट्र के 16 लाख सरकारी कर्मचारियों के लिए खुशखबरी है। केन्द्र की मोदी सरकार के बाद राज्य की एकनाथ शिंदे सरकार ने कर्मचारियों को नई पेंशन का तोहफा दिया है। शिंदे कैबिनेट ने भी रविवार को यूपीएस यानि यूनिफाइड पेंशन स्कीम को मंजूरी दे दी। नई योजना 1 मार्च 2024 से लागू होगी। केंद्र की इस योजना को अपने राज्य में लागू करने वाला महाराष्ट्र पहला राज्य बन गया है।
वर्तमान में राज्य में 16 लाख कर्मचारियों है, इनमें से 8.27 लाख NPS के अंतर्गत आते हैं। UPS उन कर्मचारियों के लिए लागू की जाएगी, जो इस समय NPS के अंतर्गत आते हैं। खास बात यह है कि इसमें पुरानी पेंशन स्कीम (OPS) की तरह ही सरकारी कर्मियों को रिटायरमेंट के बाद औसत मूल वेतन की 50% राशि मिलेगी। हालांकि, इसके लिए कई मानक और नियम भी तय किए गए हैं।
शनिवार को केन्द्र सरकार ने दी थी UPS को मंजूरी
- गौरतलब है कि महंगाई भत्ता वृद्धि से पहले केन्द्र की मोदी सरकार ने यूनिफाइड पेंशन स्कीम की मंजूरी दे दी। नई योजना 1 अप्रैल 2025 से लागू होगी। यूनिफाइड पेंशन स्कीम का लाभ उन सभी कर्मचारियों को मिलेगा जो रिटायर्ड हो चुके हैं और NPS के तहत 31 मार्च 2025 रिटायर हो रहे हैं। इसके अलावा उन्हें एरियर का भी भुगतान किया जाएगा।
- खास बात ये है कि यह UPS पेंशन योजना साल 2004 से लागू NPS के साथ-साथ चलेगी यानी कर्मचारियों के पास अब पेंशन के लिए दो विकल्प होंगे, इसमें से एक को चुनना होगा।ध्यान रहे कोई भी विकल्प चुनने के बाद उसे बाद में कभी बदला नहीं जा सकेगा।केंद्र सरकार के लगभग 23 लाख कर्मचारियों को एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) से लाभ होगा.
जानें UPS NPS और OPS में फर्क
- UPS में 25 वर्ष की न्यूनतम अर्हक सेवा के लिए सेवानिवृत्ति से पहले अंतिम 12 महीनों में प्राप्त औसत मूल वेतन का 50 प्रतिशत। यह वेतन न्यूनतम 10 वर्ष की सेवा अवधि तक कम सेवा अवधि के लिए आनुपातिक होगा।
- UPS में कर्मचारी की मृत्यु से ठीक पहले उसकी पेंशन का 60 प्रतिशत।न्यूनतम 10 वर्ष की सेवा के बाद सेवानिवृत्ति पर 10,000 रुपये प्रति माह।
- UPS में औद्योगिक श्रमिकों के लिए अखिल भारतीय उपभोक्ता मूल्य सूचकांक के आधार पर महंगाई राहत।सैन्य कर्मचारियों के मामले में सेवानिवृत्ति के समय ग्रेच्युटी के अतिरिक्त एकमुश्त भुगतान, सेवा के प्रत्येक पूर्ण छह महीने के लिए, सेवानिवृत्ति की तिथि पर मासिक परिलब्धियों (वेतन + डीए) का 1/10वां हिस्सा,इस भुगतान से सुनिश्चित पेंशन की धनराशि कम नहीं होगी।
- OPS में सरकारी कर्मचारी के रिटायर होने के बाद आखिरी मूल वेतन और महंगाई भत्ते की आधी रकम बतौर पेंशन ।हर साल दो बार महंगाई भत्ते का लाभ ।
- UPS पेंशन पाने वाले सरकारी कर्मचारी की मौत होने पर उसके परिवार के पेंशन । रिटायरमेंट के बाद 20 लाख रुपए तक की ग्रेच्युटी।GPF के ब्याज पर उसे किसी प्रकार का इनकम टैक्स नहीं देना पड़ता।
- NPS के तहत सरकारी कर्मचारी को अपनी पेंशन में मूल वेतन का 10 फीसदी देना होता है और इसमें राज्य सरकार केवल 14% का ही योगदान देती है। रिटायरमेंट के समय ग्रेच्युटी का कोई स्थायी प्रावधान नहीं है।महंगाई भत्ता (DA) लागू नहीं होता है।
- NPS के तहत सेवानिवृत्ति पर पेंशन पाने के लिए एनपीएस फंड का 40 फीसदी निवेश करना होता है। सेवानिवृत्ति के बाद निश्चित पेंशन की गारंटी नहीं होती।
- NPS में सेवा के दौरान कर्मचारी की मृत्यु होने पर उनके परिजनों को कुल वेतन का 50 फीसदी पेंशन के तौर पर देने का प्रावधान है। रिटायरमेंट पर शेयर बाजार के अनुसार जो भी पैसा मिलेगा,आपको उसपर टैक्स देना होता है।
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— Eknath Shinde – एकनाथ शिंदे (@mieknathshinde) August 25, 2024