Munger – चुनाव आयोग ने हटाए डीएम और एसपी, गुस्साई भीड़ ने लगाई पुलिस चोकी में आग

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बिहार, डेस्क रिपोर्ट। बिहार के मुंगेर (Munger)में दुर्गा विसर्जन के समय हुई पुलिस और लोगों के बीच हिंसा (violence) के बाद मुंगेर (Munger) का मामला आए दिन तूल पकड़ता जा रहा है। गुरुवार को हुई हिंसा को लेकर चुनाव आयोग (election commission) ने जिला मजिस्ट्रेट (District Magistrate) और पुलिस अधीक्षक (Superintendent of Police) को हटा दिया है। मुंगेर (Munger) में हुई हिंसा में एक व्यक्ति को मौत हो गई थी वहीं एक घायल हो गया था।

साथ ही फायरिंग और पथराव के चलते पुलिसकर्मियों के साथ-साथ दो दर्जन से ज्यादा लोग घायल हो गए थे। वहीं चुनाव आयोग ने अपने बयान में कहा कि पोल पैनल (poll panel) ने मगध डिवीजनल कमिश्नर असंगबा चुबा (Magadh Divisional Commissioner Asangba Chuba Ao, ) को पूरे मामले की जांच करने के आदेश दिए है।


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Gaurav Sharma

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पत्रकारिता पेशा नहीं ज़िम्मेदारी है और जब बात ज़िम्मेदारी की होती है तब ईमानदारी और जवाबदारी से दूरी बनाना असंभव हो जाता है। एक पत्रकार की जवाबदारी समाज के लिए उतनी ही आवश्यक होती है जितनी परिवार के लिए क्यूंकि समाज का हर वर्ग हर शख्स पत्रकार पर आंख बंद कर उस तरह ही भरोसा करता है जितना एक परिवार का सदस्य करता है। पत्रकारिता मनुष्य को समाज के हर परिवेश हर घटनाक्रम से अवगत कराती है, यह इतनी व्यापक है कि जीवन का कोई भी पक्ष इससे अछूता नहीं है। यह समाज की विकृतियों का पर्दाफाश कर उन्हे नष्ट करने में हर वर्ग की मदद करती है। इसलिए पं. कमलापति त्रिपाठी ने लिखा है कि," ज्ञान और विज्ञान, दर्शन और साहित्य, कला और कारीगरी, राजनीति और अर्थनीति, समाजशास्त्र और इतिहास, संघर्ष तथा क्रांति, उत्थान और पतन, निर्माण और विनाश, प्रगति और दुर्गति के छोटे-बड़े प्रवाहों को प्रतिबिंबित करने में पत्रकारिता के समान दूसरा कौन सफल हो सकता है।