भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। किसानों(farmers) की फसल बीमा क्लेम(Crop Insurance Claim) को लेकर मध्य प्रदेश सरकार ने अपने कार्यों में तेजी अपनाई है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान(Chief Minister Shivraj Singh Chauhan) लगातार मंत्रालय में उच्च स्तरीय बैठक ले रहे हैं। जहां वह किसानों की दावा राशि प्राप्त नहीं होने सहित यूरिया के आवंटन एवं किसानों के हित मामले में निर्णय ले रहे हैं। वहीं उन्होंने आदेश दिए हैं कि किसानों के बकाए फसल बीमा की राशि का मामला जल्द से जल्द सुलझाया जाए।
इसी बीच शनिवार को प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि इस वर्ष बारिश अच्छी हुई है। जिससे किसान जल्दी बुवाई कर सकते हैं। सरकार का अनुमान है कि 2020-21 पर्याप्त बारिश होने के कारण गत वर्ष की तुलना में इस वर्ष गेहूं की फसल 10 लाख हेक्टेयर क्षेत्र वृद्धि की संभावना है। वहीं उन्होंने केंद्र सरकार के उर्वरक मंत्री सदानंद गौड़ा से पर्याप्त मात्रा में यूरिया की उपलब्धता सुनिश्चित कराने का अनुरोध किया है।
अपनी बैठक में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि उन्हें कई जिलों के किसानों से शिकायतें आई है कि कुछ किसानों को अब तक फसल बीमा राशि भुगतान नहीं की गई है या उनके नुकसान के अनुपात में वह भुगतान काफी कम है। इस संबंध में निर्देश देते हुए सीएम शिवराज ने कहा कि प्रत्येक जिले के कलेक्टर के माध्यम से दावा राशि की सूची पुनः प्राप्त की जाए और सूची अनुसार संबंधित बीमा कंपनी को दावा प्रस्तुत किया जाए।
बीमा दावा राशि का भुगतान
प्रमुख सचिव श्री अजीत केसरी ने बताया कि खरीफ 2018 में प्रदेश में कुल 8 लाख 94 हजार 919 किसानों को दावा राशि 1987 करोड़ 27 लाख रूपये का भुगतान किया गया। रबी 2018-19 में बीमा कंपनियों द्वारा दावा राशि 710 करोड़ रूपये का भुगतान किया गया। खरीफ 2019 में कुल 22 लाख 49 हजार 760 किसानों को दावा राशि 4 हजार 688 करोड़ रूपये का भुगतान किया जाना था, जिसमें से 1 अक्टूबर तक 14 लाख 40 हजार किसानों को 2628 करोड़ रूपए बीमा दावा राशि का भुगतान किया गया है।
खरीफ 2020 में कुल 45 लाख 16 हजार किसानों का बीमा
खरीफ 2020 में प्रदेश के कुल 45 लाख 16 हजार किसानों का 1 अक्टूबर तक बीमा कराया गया, जिसमें 38 लाख 67 हजार ऋणी तथा 6 लाख 49 हजार अऋणी किसान हैं। खरीफ 2019 में 37 लाख किसानों का बीमा किया गया था।
इसी के साथ मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कृषि विभाग को निर्देश देते हुए कहा है कि समय रहते किसानों को जागरूक करें कि वह रबी में तिवड़ा मिश्रित चना ना बोएं। तिवड़ा मिश्रित चने को समर्थन मूल्य पर खरीदने में सरकार को लगातार परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
बता दे कि पिछले दिनों मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने नई दिल्ली में केंद्रीय रसायन एवं उर्वरक मंत्री डीवी सदानंद गौड़ा से मुलाकात की थी। उन्होंने मध्यप्रदेश को यूरिया आवंटन 18 लाख मीट्रिक टन से बढ़ाकर 22 लाख मैट्रिक टन करने की मांग की थी।