GDP Growth: भारतीय अर्थव्यवस्था को लेकर राहत भरी खबर सामने आई है। चौथी तिमाही में जीडीपी ग्रोथ के आँकड़े आरबीआई के अनुमान से ज्यादा रहे। राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय ने 31 मई यानि आज जीडीपी के नए आँकड़े जारी कर दिए हैं। जिसके मुताबिक वित्तीय वर्ष 2022-23 की जनवरी से लेकर मार्च तक जीडीपी ग्रोथ रेट 6.1% रही। वहीं पहली तिमाही में दरें 13.1 फीसदी, दूसरी तिमाही में 6.2 फीसदी और तीसरी तिमाही में 4.5 फीसदी थी। आरबीआई द्वारा अनुमानित जीडीपी ग्रोथ रेट 4.9-5.5% थी।
एनएसओ की रिपोर्ट के मुताबिक वित्तीय वर्ष 2022-23 में आर्थिक वृद्धि दर 7.2 फीसदी रही। फाइनेंशियल ईयर 2021-22 में आर्थिक वृद्धि दर 9.1 फीसदी थी। वित्तीय वर्ष 2022-23 अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में आर्थिक वृद्धि दर 4.5 फीसदी दर्ज गई थी। वहीं 2021-22 की जनवरी-मार्च तिमाही में आर्थिक वृद्धि 4% थी। वहीं चीन की आर्थिक वृद्धि 2023 की पहली तिमाही में 4.5% रही। सकल घरेलू उत्पाद देश के भीतर उत्पादित वस्तुओं और सेवाओं के कुल मूल्य को दर्शाता है।
नए आंकड़ों के अनुसार बुनियादी उद्योगों में नरमी देखी गई है। मार्च, 2023 में इसकी वृद्धि दर 3.6 रही, अप्रैल में यह 9.5% बढ़ा था। वहीं कोयले का उत्पादन भी घटा है। उर्वरक उत्पादन में 23.5% की वृद्धि हुई है। सीमेंट का उत्पादन 11.6%% बढ़ा है।
विशेषज्ञों के मुताबिक कृषि क्षेत्र में मजबूती और डोमेस्टिक डिमांड में वृद्धि के कारण भारतीय अर्थव्यवस्था को सहारा मिला है। एक तरफ जहां यूरोप, अमेरिका और अन्य पश्चिमी इकॉनोमिकल मंदी की चपेट हैं। इस बीच भारत का जीडीपी ग्रोथ देश के बेहतर अर्थव्यवस्था की ओर इशारा कर रहा है। वर्ल्ड बैंक और आईएमएफ़ के मुताबिक भारत में मंदी की संभावना नहीं है।