तेज हुई अलग विंध्य प्रदेश की मांग, बीजेपी विधायक नारायण त्रिपाठी ने आंदोलन का किया ऐलान

Gaurav Sharma
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बीजेपी विधायक

भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। अक्सर सुर्खियों में रहने वाले बीजेपी विधायक नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) एक बार फिर से चर्चाओं में है। जिन्होंने बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा (BJP state president VD Sharma) की नसीहत को नहीं मानते हुए, अलग से विंध्य प्रदेश (Vindhya Pradesh demand) बनाये जाने की मांग शुरू कर दी है। जिसे लेकर उन्होंने बड़े स्वरूप में आंदोलन करने का ऐलान किया है। ये बात बीजेपी विधायक नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) ने रीवा स्थित राजनिवास में प्रेस कॉन्फ्रेंस (Press conference) में कही है, जहां उन्होंने दोबारा विंध्य प्रदेश (Vindhya Pradesh demand) बनाए जाने की मांग की है।

अलग विंध्य प्रदेश की मांग हुई तेज

बता दें कि ये पहली बार नहीं है जब अलग से विंध्य प्रदेश (Vindhya Pradesh demand) बनाये जाने की मांग की जा रही हो। इससे पहले भी इसी मांग को लेकर कई बार चर्चा हो चुकी है। छह दशकों से अलग विंध्य प्रदेश (Vindhya Pradesh) बनाने की मांग की जा रही है। 1 नवंबर 1956 को जब मध्यप्रदेश का गठन (Constitution of Madhya Pradesh) हुआ था, तभी से अलग विंध्य प्रदेश बनाए जाने की मांग जारी है। वहीं इसी संबंध में अलग विंध्या प्रदेश (Vindhya Pradesh) की मांग को लेकर विधायक नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) बीते कुछ दिनों से मांग कर रहे हैं।

अपनी मांग से पीछे नहीं हटेंगे : नारायण त्रिपाठी

मैहर से बीजेपी विधायक नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि दोबारा विंध्य प्रदेश (Vindhya Pradesh) बनाए जाने पर वह अपना सर्वस्व न्यौछावर कर देंगे। इस दौरान वह किसी भी तरीके से पीछे नहीं हटेंगे। वही पार्टी द्वारा दिए गए आदेशों के पालन के सवाल को लेकर कहा कि वह अपनी पार्टी के आदेशों का पालन करते रहेंगे, लेकिन दोबारा विंध्य प्रदेश बनाए जाने के मांग को लेकर पीछे नहीं हटेंगे। इसके लिए एक बड़ा जन आंदोलन भी किया जाएगा। विधायक नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) ने कहा कि अलग विंध्य प्रदेश बनाए जाने को लेकर वह छात्र-छात्राओं से चर्चा करेंगे। जिससे इस मांग को मजबूती मिल सके।

लोगों को बताएंगे विंध्य प्रदेश का इतिहास : BJP विधायक

विधायक ने कहा कि उन्हें अपना पुराना विंध्य प्रदेश (Vindhya Pradesh) वापस लौटा दिया जाए। ऐसा नहीं हो रहा है, तो वह अब जनसंपर्क के जरिए लोगों से मुलाकात करेंगे और लोगों के बीच जाकर विंध्य प्रदेश के इतिहास के बारे में सभी को जानकारी देंगे। इस दौरान उन्होंने कहा कि छोटे राज्य बनाया जाए ऐसा पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई का सपना था। इसी सपने को साकार करने के लिए उन्होंने अलग विंध्य प्रदेश बनाए जाने की मांग उठाई है।

एक बड़े जन आंदोलन का किया ऐलान

बीजेपी विधायक नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) ने कहा कि उन्होंने रीवा में अलग-अलग संगठनों के साथ बैठक की है, जहां सभी से समर्थन की मांग की है। इसके साथ ही चुरहट में 27 जनवरी को एक बड़ा आंदोलन किया जाएगा। ऐसा ऐलान कर विधायक नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) ने अपने ही पार्टी के खिलाफ बिगुल बजा दिया है, क्योंकि उन्होंने एक बड़ा जन आंदोलन करने का ऐलान किया है। जानकारी के अनुसार, बीजेपी विधायक नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) लंबे समय से दोबारा विंध्य प्रदेश की मांग को लेकर लोगों से समर्थन जुटा रहे है। जिसे लेकर उन्होंने सतना जिले के उचेहरा में एक सभा की थी। इस सभा में उन्होंने कहा था कि पार्टी छोड़कर हर व्यक्ति प्रमोशन ही चाहता है। हम सपा में थे, कांग्रेस में गए, प्रमोशन मिला। ऐसे ही कांग्रेस छोड़कर जब भाजपा में शामिल हुए तो प्रमोशन मिला। उन्होंने कहा कि हम नया प्रदेश बनाने को नहीं कह रहे है, बस हम चाहते हैं कि हमें हमारा पुराना विंध्य प्रदेश वापस लौटा दिया जाए।

बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष की नसीहत को किया दरकिनार

बीजेपी विधायक नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) द्वारा लगातार अलग विंध्य प्रदेश (Vindhya Pradesh) बनाए जाने की मांग की बात सुनते ही बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष बीडी शर्मा ने नारायण त्रिपाठी से बात करनी चाही। जिसे लेकर भोपाल में नारायण त्रिपाठी (BJP MLA Narayan Tripathi) और बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा (BJP state president VD Sharma) के बीच एक बंद कमरे में चर्चा हुई। जहां से खबरें आ रही थी कि प्रदेश अध्यक्ष ने अलग विंध्य प्रदेश (Vindhya Pradesh Demand) की मांग उठाने को लेकर नारायण त्रिपाठी से सवाल जवाब किया था। ऐसे में उन्होंने बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष (BJP state president VD Sharma) की नसीहत को भी दरकिनार करते हुए कहा कि उनका अलग विंध्य प्रदेश की मांग (Demand for separate Vindhya Pradesh) को लेकर लड़ाई जारी रहेगी।


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पत्रकारिता पेशा नहीं ज़िम्मेदारी है और जब बात ज़िम्मेदारी की होती है तब ईमानदारी और जवाबदारी से दूरी बनाना असंभव हो जाता है। एक पत्रकार की जवाबदारी समाज के लिए उतनी ही आवश्यक होती है जितनी परिवार के लिए क्यूंकि समाज का हर वर्ग हर शख्स पत्रकार पर आंख बंद कर उस तरह ही भरोसा करता है जितना एक परिवार का सदस्य करता है। पत्रकारिता मनुष्य को समाज के हर परिवेश हर घटनाक्रम से अवगत कराती है, यह इतनी व्यापक है कि जीवन का कोई भी पक्ष इससे अछूता नहीं है। यह समाज की विकृतियों का पर्दाफाश कर उन्हे नष्ट करने में हर वर्ग की मदद करती है।इसलिए पं. कमलापति त्रिपाठी ने लिखा है कि," ज्ञान और विज्ञान, दर्शन और साहित्य, कला और कारीगरी, राजनीति और अर्थनीति, समाजशास्त्र और इतिहास, संघर्ष तथा क्रांति, उत्थान और पतन, निर्माण और विनाश, प्रगति और दुर्गति के छोटे-बड़े प्रवाहों को प्रतिबिंबित करने में पत्रकारिता के समान दूसरा कौन सफल हो सकता है।

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