भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्य प्रदेश की जनता के बीच जागरूकता फैलाने के लिए “मिलावट से मुक्ति अभियान” की शुरुआत की गई है। जिसके मुताबिक प्रदेश को मिलावट से मुक्त किया जाएगा, अब इसमें जनता भी मिलावटखोरों के खिलाफ अपना योगदान दे सकती है। mpmygov.in मदद से आप भी अपने विचार शेयर कर सकते हैं। खाद्य पदार्थों में मिलावट आजकल एक आम प्रक्रिया बन चुकी है। मिलावट एक ऐसी प्रक्रिया है जिसके जिसमें खाद्य पदार्थ में उसी की तरह दिखने वाला कोई पदार्थ या कोई हानिकारक तत्व मिलाकर उसके गुण को बदला जाता है।
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मिलावट के कारण पदार्थों की प्रकृति, गुण और पौष्टिकता में भी काफी सारे बदलाव आते हैं, और कभी-कभी तो इनमें हानिकारक पदार्थों की भी मिलावट की जाती है, जो स्वास्थ्य के लिए बहुत हानिकारक होते हैं। मध्य प्रदेश सरकार ने प्रदेश की जनता को इस परेशानी से बचाने और नागरिकों तक शुद्ध पदार्थों को उपलब्ध कराने के लिए 9 नवंबर 2022 से मिलावट से मुक्ति अभियान की शुरुआत की की है, इसके अनुसार मिलावटखोरों पर लगातार कार्रवाई भी जारी है। जिसके तहत प्रदेश भर में प्रयोगशाला में भी शुरू की गई है, जिसमें ₹10 के शुल्क में खाद्य पदार्थों की जांच की जाती है। खुशी की बात तो यह है कि, मिलावटखोरों के खिलाफ चलाए जा रहे इस अभियान में, इसे और अधिक सफल बनाने के लिए आम जनता भी अपने विचार साझा कर सकती है।