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Sun, Dec 21, 2025

MP News : राज्य शासन की बड़ी तैयारी, प्रदेश में पहली बार शुरू होगी ये व्यवस्था, प्रस्ताव तैयार

Written by:Kashish Trivedi
Published:
MP News : राज्य शासन की बड़ी तैयारी, प्रदेश में पहली बार शुरू होगी ये व्यवस्था, प्रस्ताव तैयार

भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्यप्रदेश शासन (MP Government) द्वारा कृषि साख सहकारी समितियों (Agricultural Credit Co-operative Societies) में अब लोकपाल (lokpal) की नियुक्ति की जाएगी। यह पहली बार होगा जब मध्यप्रदेश में लोकपाल की नियुक्ति का प्रावधान किया गया है। सहकारी लोकपाल (co-operative lokpal) की नियुक्ति के साथ ही जिला सहकारी केंद्रीय बैंक से जुड़ी शिकायत और कृषि साख सहकारी समितियों से जुड़ी शिकायत की सुनवाई अब स्वतंत्र निकाय द्वारा की जाएगी। वहीं इसके लिए सरकारी लोकपाल की नियुक्ति स्वतंत्र निकाय में होगी।

दरअसल इसके लिए सहकारिता आयुक्त कार्यालय द्वारा प्रस्ताव राज्य शासन को भेज दिया गया है। जिन लोकपाल की नियुक्ति की जाएगी। उसमें सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी सहकारिता विभाग के अपर संयुक्त पंजीयक स्तर के अधिकारी को लोकपाल नियुक्त किया जाएगा। इससे पहले आरबीआई और राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक द्वारा शिकायतों के समाधान के लिए स्वतंत्र निकाय की सिफारिश की गई थी।

स्वतंत्र निकाय मामले की जांच अन्य बैंकों की जांच की जाती है। वहीं RBI की सिफारिश के बाद मध्य प्रदेश में भी सहकारिता आयुक्त कार्यालय द्वारा लोकपाल की नियुक्ति का प्रस्ताव तैयार किया गया है। इस मामले में संयुक्त पंजीयक अरविंद सिंह सेंगर का कहना है कि प्रस्ताव राज्य शासन को भेज दिया गया है। अंतिम निर्णय राज्य शासन के स्तर पर लिया जाएगा। उसके बाद ही इस मामले में कार्रवाई की जाएगी।

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मध्य प्रदेश कृषि संसाधनों की भरमार है। प्रदेश में सहकारी समिति से पचास लाख से ज्यादा किसान जुड़े हुए हैं और 25 लाख से ज्यादा किसान अल्पावधि ऋण से जुड़े हुए हैं ऐसे में सरकार जिला सहकारी केंद्रीय बैंक को ₹800 करोड़ से अधिक का ब्याज अनुदान करती ।है जिसके बाद फर्जी तरीके से किसान के नाम पर आहरण, राशि जमा करने सहित अन्य मामले सामने आते हैं।

बीते दिनों इस मामले में ग्वालियर, शिवपुरी, गुना, छतरपुर सहित अन्य बैंकों से जुड़ी शाखाओं में किसान के नाम पर धोखाधड़ी की घटनाएं सामने आई है। वही मामले की सुनवाई पंजीयक, सहायक पंजीयक, संयुक्त पंजीयक के द्वारा की जाती है। जिस पर अधिकारियों पर पक्षपात के आरोप लगते हैं। इससे पहले छिंदवाड़ा, उज्जैन, देवास में भी 100 करोड से अधिक घोटाले के मामले सामने आने के बाद राज्य शासन की तरफ से जल्दी बड़ा फैसला लिया जा सकता है। जहां जिला सहकारी केंद्रीय बैंक से जुड़ी समस्याओं की सुनवाई के लिए निकाय गठित की जाएगी। वहीं इन निकायों में लोकपाल की भर्ती की जाएगी।