भोपाल| संघ के राजधानी भोपाल स्थित कार्यालय संविदा की सुरक्षा में लगे जवानों को हटाए जाने के मामले से राजनीति गरमाने के बाद सरकार बैकफुट पर आ गई है| मुख्यमंत्री कमलनाथ ने आरएसएस कार्यालय पर पुनः सुरक्षा व्यवस्था करने के निर्देश अधिकारियों को दिए हैं| इससे पहले पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय ने सरकार के इस फैसले पर सवाल उठाते हुए सीएम से संघ कार्यालय पर पर्याप्त सुरक्षा देने की मांग की थी|
मुख्यमंत्री कमलनाथ के जारी बयान में कहा गया मुझे आरएसएस के भोपाल स्थित कार्यालय से चुनाव आयोग में की गयी एक शिकायत के चलते व चुनावी कार्य में फ़ोर्स की आवश्यकता होने के कारण सुरक्षा हटा लेने की जानकारी मिली। कुल 6 स्थानो पर से सुरक्षा व्यवस्था हटायी गयी। मेने अधिकारियों को तुरंत ही निर्देश दिये है कि आरएसएस कार्यालय पर पुनः सुरक्षा व्यवस्था की जाये।
हमने भाजपा की तरह दोहरा आचरण नहीं रखा
सीएम ने कहा आरएसएस से भले हमारे वैचारिक मतभेद हो सकते है।आरएसएस भले हमारा विरोध करता रहा हो।लेकिन मैं उनके कार्यालय से सुरक्षा हटायें जाने का पक्षधर नहीं हूँ। मैं इस तह में भी नहीं जाना चाहता हूँ कि पिछले 15 वर्षों में भाजपा कार्यालय पर सुरक्षा बल तैनात रहे।वही कांग्रेस कार्यालय को कोई सुरक्षा भाजपा सरकार में नहीं प्रदान की गयी। हमारी सरकार बनने के बाद भी हमने भाजपा कार्यालय को दी जा रही सुरक्षा व्यवस्था को जारी रखा। हमने भाजपा की तरह दोहरा आचरण नहीं रखा। भले आरएसएस कार्यालय के ज़िम्मेदार लोग कह रहे है कि हमने सुरक्षा नहीं माँगी। लेकिन मैं इस तरह की राजनीति में विश्वास शुरू से नहीं करता हूँ और ना इस तरह के विषय को राजनीति का केन्द्र बनाना चाहता हूँ।
भाजपा नेताओं पर साधा निशाना
कमलनाथ ने इस मामले में राजनीति करने वालों पर भी निशाना साधा| उन्होंने कहा जो भाजपा नेता इस मामले पर हो हल्ला मचा रहे है। हमले की आशंका जता रहे है। सुरक्षा की आवश्यकता बता रहे है। उन्हें विधिवत प्रक्रिया का पालन कर सुरक्षा की माँग वाला पत्र तुरंत प्रशासन को सौंपना चाहिये। सुरक्षा माँगना भी नहीं और हटना भी नहीं चाहिये , यह दोनो बातें समझ से परे है। फिर भी मैं आरएसएस कार्यालय को पुनः सुरक्षा देने के निर्देश जारी कर रहा हूँ।