भोपाल। लोकसभा चुनाव में महज 100 दिन बचे हैं। उससे पहले ही राजनीतिक समीकरण बदलने लगे हैं। ग्वलियर लोकसभा से इस बार दोनों दलों से कौन प्रत्याशी होगा इसके लिए सुगबुगाहट तेज हो गई है। अटकलें लगाई जा रही हैं कि विधानसभा में कांग्रेस के शानदार प्रदर्शन को देखते हुए पूर्व केंद्रीय मंत्री और गुना-शिवपुरी सांसद ज्यतिरादित्य सिंधिया ग्वालियर लोकसभा से चुनाव लड़ सकते हैं। वहीं, गुना-शिवपुरी सीट से उनकी धर्म पत्नी प्रियदर्शनी राजे को टिकट मिल सकता है। इससे पहले भी उनकी पत्नी के चुनाव लड़ने की खबर आ चुकी है।
दरअसल, इस उठती चिंगारियों को हवा देने का काम भी सिंधिया ने ही किया है। उन्होंने हाल ही में ग्वालियर मेला का शुभारंभ किया था। उनके ग्वालियर से चुनाव लड़ने के पीछ दो प्रमुख कारण बताए जा रहे हैं। एक तो इस बार का कांग्रेस के पक्ष में माहौल है और दूसरा ग्वालियर लोकसभा से लंबे समय बाद पहली बार आठ विधानसभाओं में से कांग्रेस ने सात पर अपना कब्जा जमाया है। सिर्फ एक विधानसभा ग्वालियर ग्रामीण है, जहां पर भाजपा ने जीत दर्ज की है। अंचल में इस बार लोकसभा का चुनाव कांग्रेस के लिए काफी मुफीद माना जा रहा है। इसलिए कार्यकर्ताओं एवं समर्थकों की इच्छा है कि सांसद सिंधिया इस बार गुना-शिवपुरी के बजाए ग्वालियर लोकसभा से चुनावी मैदान में उतरें।
क्या है ग्वालियर लोकसभा सीट का इतिहास
1998 के लोकसभा चुनाव में स्व.माधवराव सिंधिया कांग्रेस से चुनावी मैदान में थे और उनके मुकाबले भाजपा ने जयभान सिंह पवैया को मैदान में उतारा था। इस चुनाव में भाजपा कांग्रेस के बीच कड़ा मुकाबला देखने को मिला और स्व. सिंधिया करीब 26 हजार वोटों से जीत दर्ज करा पाए। उसके बाद 1999 के लोकसभा चुनाव में स्व. माधवराव सिंधिया ग्वालियर से चुनाव नहीं लड़े और उन्होंने यह चुनाव गुना-शिवपुरी से लड़ा। उसके बाद ग्वालियर से भाजपा के जयभान सिंह पवैया सांसद बनें और उसके बाद रामसेवक सिंह कांग्रेस से सांसद बनें। इसी क्रम में दो बार भाजपा से यशोधरा राजे सिंधिया सांसद रही। तत्पश्चात 2014 के लोकसभा चुनाव में नरेन्द्र सिंह तोमर सांसद बनें, जो कि वर्तमान में मोदी सरकार में केन्द्रीय मंत्री है। वहीं चर्चा है कि केंद्रीय मंत्री तोमर भी अपनी सीट बदल सकते हैं| वह विदिशा या अन्य किसी से सीट से चुनाव लड़ सकते हैं|
गुना-शिवपुरी पर भी रहेगा सिंधिया का कब्जा
सिंधिया गुना-शिवपुरी से अपनी धर्मपत्नी प्रियदर्शनी राजे को चुनावी मैदान में उतार सकते हैं। सांसद सिंधिया ग्वालियर के साथ-साथ गुना-शिवपुरी सीट पर भी कब्जा रखना चाहते हैं, क्योंकि भविष्य में वे इस सीट से अपने पुत्र महाआर्यन सिंधिया को मैदान में उतार सकते हैं। इसलिए सांसद सिंधिया 2019 के लोकसभा चुनाव में दोनों सीटों पर नजर लगाए हुए हैं।