भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। पैसों की कमी से जूझ रही शिवराज सरकार (Shivraj government) अन्य राज्यों की तरह अब प्रदेश में भी गायों पर टैक्स (Tax) लगाने पर विचार कर रही है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chauhan) ने कहा कि प्रदेश में गो-संवर्धन एवं गो-संरक्षण के लिए अन्य प्रदेशों की तरह ‘काऊ सैस’ (गो-सेवा कर) लगाए जाने पर विचार किया जा रहा है।
सरकार का मानना है कि इस टैक्स से जो राशि प्राप्त होगी उससे पावन कार्य में सभी की भागीदारी भी होगी।साथ ही इनकम टैक्स (Income Tax) की धारा 80-जी के अंतर्गत गाय के लिए दान करने पर आयकर में छूट (Income tax exemption) का प्रावधान है। यदि सरकार गाय टैक्स लगाती है तो यह पहली ऐसी BJP सरकार होगी जो एमपी में गायों के कल्याण के लिए टैक्स लगाएगी।
दरअसल, सरकार सालरिया गो-अभ्यारण्य में 22 नवम्बर (November) गोपाष्टमी को होने वाले आयोजन में जुटी है। मुख्यमंत्री चौहान (Shivraj Singh Chauhan) ने कहा कि सालरिया गो-अभ्यारण्य (Salaria Go-Sanctuary) को आदर्श के रूप में विकसित किया जाएगा। प्रदेश में गो-संरक्षण एवं संवर्धन के लिए गौ-केबिनेट (Cow Cabinet) बनाई गई है। प्रदेश में गौ-पालन एवं गौ-उत्पादों को अधिक से अधिक बढ़ावा दिया जाएगा। इसमें जनता एवं समाजसेवी संगठनों की अधिक से अधिक सहभागिता सुनिश्चित की जाएगी। गोपाष्टमी (Gopashtami) के दिन वे स्वयं सबसे बड़े गो-अभ्यारण्य सालरिया जाकर गो-पूजन करेंगे तथा वहां गो-सेवा विशेषज्ञों के साथ संगोष्ठी कर गो-संरक्षण एवं संवर्धन के संबंध में विचार-विमर्श करेंगे।
देशी नस्लों को बढ़ावा, देशभर से 14 गो-विशेषज्ञ आएंगे
मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि प्रदेश में गो-पालन के अंतर्गत देशी नस्ल को बढ़ावा दिया जाएगा। गो-काष्ठ लकड़ी का श्रेष्ठ विकल्प है, अत: इसका उत्पादन बढ़ाया जाएगा। साथ ही गाय के दूध से निर्मित विभिन्न सामग्रियों, गोबर एवं गो-मूत्र से बने उत्पादों को भी बढ़ावा दिया जाएगा। गो-अभ्यारण्य सालरिया में एक आधुनिक गो-अनुसंधान केन्द्र भी खोला जाएगा। सालरिया गो-अभ्यारण्य में गोपाष्टमी के दिन होने वाले आयोजन में देशभर के 14 प्रमुख गो-विशेषज्ञ शामिल हो रहे हैं, जिनके साथ मुख्यमंत्री संगोष्ठी कर प्रदेश में गो-संरक्षण एवं संवर्धन के संबंध में चर्चा करेंगे।
बता दे कि प्रदेश में स्वयंसेवी संस्थाओं द्वारा 627 गो-शालाएं संचालित हैं, इनमें 1 लाख 66 हजार गो-वंश का पालन किया जा रहा है। प्रदेश में निराश्रित गो-वंश लगभग 8.5 लाख है, जिनकी देखरेख करना हम सभी की सामाजिक जिम्मेदारी है।
गौरतलब है कि बीजेपी शासित कई प्रदेशों में यह टैक्स पहले ही लगाया जा चुका है। हरियाणा (Haryana) ,उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के बाद राजस्थान (Rajasthan) की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया ने भी अपने शासन काल में गाय टैक्स लगाया था। वही पिछली कमलनाथ सरकार ने भी इसकी पहल की थी और बीजेपी शासित प्रदेश के मॉडल का भी अध्ययन किया था, लेकिन इसके पहले ही सत्ता हाथ से चली गई।