इंदौर के लाखों मरीजों के लिए एक बड़ी और राहत भरी खबर है। शहर के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल महाराजा यशवंतराव (MY Hospital) अस्पताल में अब नया भवन बनने जा रहा है, जिसमें 1450 बेड की सुविधा होगी। रविवार को इस महत्वाकांक्षी परियोजना का भूमिपूजन किया जाएगा, जिसमें मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव शामिल होंगे।
यह सिर्फ एक नया भवन नहीं होगा, बल्कि इंदौर और आसपास के जिलों की स्वास्थ्य व्यवस्था को मजबूत करने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है। खासतौर पर उन मरीजों के लिए, जो रोजाना इलाज के लिए एमवाय अस्पताल पहुंचते हैं।
मुख्यमंत्री दूसरी बार आएंगे एमजीएम मेडिकल कॉलेज परिसर
एमवाय अस्पताल के नए भवन का भूमिपूजन सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल परिसर में आयोजित कार्यक्रम में होगा। यह दूसरी बार है जब मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव एमजीएम मेडिकल कॉलेज परिसर पहुंच रहे हैं। इससे पहले भी वे यहां स्वास्थ्य से जुड़े कार्यक्रमों में शामिल हो चुके हैं। सरकार की ओर से इसे प्रदेश के सबसे बड़े हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स में से एक माना जा रहा है। अधिकारियों का कहना है कि नया भवन आधुनिक तकनीक और सुविधाओं से लैस होगा।
नौ मंजिला होगा नया एमवाय अस्पताल
नए एमवाय अस्पताल भवन को करीब 713 करोड़ रुपये की लागत से तैयार किया जाएगा। इसमें अस्पताल भवन के साथ-साथ नर्सिंग होस्टल, ऑडिटोरियम, पार्किंग और बाहरी विकास कार्य भी शामिल हैं। यह भवन ग्राउंड फ्लोर के साथ कुल नौ मंजिला होगा। इतने बड़े और आधुनिक अस्पताल से गंभीर बीमारियों के इलाज में भी काफी मदद मिलने की उम्मीद है। प्रशासन का दावा है कि यह अस्पताल भविष्य की जरूरतों को ध्यान में रखकर डिजाइन किया गया है।
पुरानी बिल्डिंग पर बढ़ रहा दबाव, रोज आते हैं 4 हजार मरीज
फिलहाल एमवाय अस्पताल जिस भवन में संचालित हो रहा है, उसकी क्षमता करीब 1150 बेड की है। यहां रोजाना ओपीडी में लगभग 4 हजार मरीज इलाज के लिए पहुंचते हैं। बढ़ती भीड़ और मरीजों के दबाव के चलते अस्पताल की पुरानी बिल्डिंग पर बोझ साफ नजर आने लगा है। अस्पताल की दीवारों और सीलिंग में कई जगह से जर्जर हालत की शिकायतें सामने आ चुकी हैं। यही वजह है कि लंबे समय से नए भवन की जरूरत महसूस की जा रही थी।
नर्सिंग होस्टल, पार्किंग और ऑडिटोरियम भी बनेंगे
इस प्रोजेक्ट में सिर्फ अस्पताल ही नहीं, बल्कि उससे जुड़ी सुविधाओं पर भी खास ध्यान दिया गया है। योजना के मुताबिक 550 बेड का नर्सिंग होस्टल, 21 करोड़ रुपये से अधिक की लागत, 31.5 करोड़ रुपये की पार्किंग सुविधा, 500 सीटों वाला ऑडिटोरियम भी बनाया जाएगा। इससे नर्सिंग स्टाफ और मेडिकल छात्रों को काफी सुविधा मिलेगी और अस्पताल की व्यवस्थाएं बेहतर होंगी।
खर्च का पूरा ब्योरा
अधिकारियों के मुताबिक अस्पताल ब्लॉक पर करीब 480 करोड़ रुपये खर्च होंगे। इसके अलावा बाहरी विकास शुल्क, अतिरिक्त पर्यवेक्षण और जीएसटी को मिलाकर लागत और बढ़ जाती है। प्रोजेक्ट पर 102 करोड़ रुपये से अधिक का जीएसटी लगाया जाएगा। वहीं, अतिरिक्त पर्यवेक्षण और उससे जुड़े टैक्स पर भी अलग से खर्च तय किया गया है।
इंदौर ही नहीं, पूरे संभाग को होगा फायदा
एमवाय अस्पताल सिर्फ इंदौर ही नहीं, बल्कि पूरे मालवा और आसपास के जिलों के मरीजों के लिए सबसे बड़ा इलाज केंद्र है। गंभीर मामलों में मरीज उज्जैन, धार, खरगोन, बड़वानी और झाबुआ तक से यहां रेफर होकर आते हैं। नया भवन बनने के बाद मरीजों को बेड की कमी, लंबा इंतजार और इलाज में देरी जैसी समस्याओं से काफी हद तक राहत मिलने की उम्मीद है।
मेडिकल एजुकेशन और सुपर स्पेशियलिटी सेवाओं को बढ़ावा
नए एमवाय अस्पताल से सिर्फ मरीजों को ही नहीं, बल्कि मेडिकल छात्रों और डॉक्टरों को भी फायदा होगा। आधुनिक वार्ड, बेहतर ऑपरेशन थिएटर और सुपर स्पेशियलिटी सुविधाओं से इलाज की गुणवत्ता में सुधार आएगा। सरकार का मानना है कि इससे इंदौर को एक मजबूत मेडिकल हब के रूप में और पहचान मिलेगी।





