Parenting Tips: हर माता-पिता अपने बच्चों को एक बेहतर इंसान बनाना चाहते हैं। जया किशोरी जी के अनुसार, बच्चों को बचपन से ही संस्कारों की शिक्षा देना बेहद जरूरी है। संस्कार बच्चों को सही और गलत में फर्क करना सिखाते हैं। इनसे बच्चों का व्यक्तित्व और चरित्र का विकास होता है। जया किशोरी जी के विचारों के अनुसार, बच्चों को धर्म, संस्कृति और समाज सेवा के प्रति जागरूक बनाना चाहिए। इससे बच्चों में नैतिक मूल्य विकसित होते हैं और वे समाज के लिए एक उपयोगी सदस्य बन पाते हैं।
1. संस्कारों की शिक्षा
जया किशोरी जी के अनुसार, बच्चों को बचपन से ही संस्कारों की शिक्षा देना बेहद आवश्यक है। संस्कार बच्चों को सही और गलत में फर्क करना सिखाते हैं, जो उनके व्यक्तित्व और चरित्र के विकास में सहायक होते हैं। धर्म, संस्कृति, और समाज सेवा के प्रति जागरूकता बच्चों में नैतिक मूल्य विकसित करती है और उन्हें समाज के लिए एक उपयोगी सदस्य बनाती है।
2. प्रेरणा और शिक्षा
जया किशोरी जी का मानना है कि बच्चों को बचपन से ही प्रेरित करना अत्यंत महत्वपूर्ण है। माता-पिता को बच्चों को कहानियाँ और किस्से सुनाने चाहिए, जो ईमानदारी, मेहनत, और लगन जैसे गुणों को दर्शाते हों। उन्हें यह समझाना चाहिए कि सफलता रातों-रात नहीं मिलती, इसके लिए कड़ी मेहनत और लगन की आवश्यकता होती है। बच्चों को यह सिखाना चाहिए कि अपने सपनों को पूरा करने के लिए लगातार प्रयास करने होंगे और कभी हार नहीं माननी चाहिए।
3. प्यार और स्नेह
जया किशोरी जी के अनुसार, बच्चों को प्यार और स्नेह की बहुत आवश्यकता होती है। जब बच्चे कोई गलती करते हैं, तो माता-पिता का कर्तव्य है कि वे उन्हें प्यार से समझाएं। डांटने और फटकारने से बच्चे और अधिक डर जाते हैं और अपनी गलतियों को स्वीकार करने से कतराते हैं। शांति से बैठाकर उनकी गलती के बारे में समझाने से वे अपनी गलती को समझते हैं और भविष्य में ऐसी गलती दोबारा नहीं करेंगे। प्यार और स्नेह से बच्चों में आत्मविश्वास बढ़ता है और वे अपने माता-पिता पर अधिक विश्वास करते हैं।
4. प्रोत्साहन
बच्चों को प्रोत्साहित करना उनके विकास के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। जब माता-पिता अपने बच्चों की छोटी-छोटी उपलब्धियों के लिए उनकी तारीफ करते हैं, तो उनका आत्मविश्वास बढ़ता है। जया किशोरी जी का मानना है कि प्रोत्साहन से बच्चे अपने कामों के प्रति अधिक गंभीर हो जाते हैं और ईमानदारी से अपने काम को पूरा करते हैं। जब बच्चे जानते हैं कि उनके माता-पिता उन पर विश्वास करते हैं, तो वे हमेशा उनकी बात मानते हैं। इसलिए, बच्चों को प्रोत्साहित करना एक ऐसा निवेश है जो भविष्य में लाभकारी सिद्ध होता है।
5. सकारात्मक माहौल
जया किशोरी जी के अनुसार, घर का माहौल बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए महत्वपूर्ण है। एक सकारात्मक माहौल बच्चों को सुरक्षित और प्रेरित महसूस कराता है। तनाव और नकारात्मकता से भरे घर में बच्चे चिंतित, उदास और असुरक्षित महसूस करने लगते हैं, जिससे उनकी खाने, नींद, और पढ़ाई पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है। इसलिए, माता-पिता का यह दायित्व है कि वे घर में एक शांत और खुशनुमा माहौल बनाए रखें।