MP Assembly: विधानसभा सत्र में विधायकों का शपथ ग्रहण, CM बोले- ‘राष्ट्रीय नेतृत्व तय करेगा कौन बनेगा मंत्री’

Diksha Bhanupriy
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MP Assembly Session: मध्य प्रदेश में 18 दिसंबर से 16वीं विधानसभा का पहला सत्र शुरू हो चुका है। इस सत्र में प्रोटेम स्पीकर गोपाल भार्गव निर्वाचित विधायकों को शपथ दिला रहे हैं। सत्र के दौरान विधानसभा अध्यक्ष का चुनाव भी किया जाने वाला है और उन्हें भी प्रोटेम स्पीकर द्वारा शपथ दिलाई जाएगी। अध्यक्ष पद के लिए नरेंद्र सिंह तोमर ने नामांकन दाखिल कर दिया है।

मीडिया से रूबरू हुए मोहन यादव

16वीं विधानसभा के पहले सत्र में विधायकों के शपथ लेने के बाद मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव मीडिया से बातचीत करते हुए दिखाई दिए। उन्होंने कहा कि “विधानसभा सत्र में नवनिर्वाचित सदस्यों ने मेरे साथ शपथ ग्रहण कर ली है। व्यवस्था अच्छी तरह से चलाई जा सके इसके लिए सभी सदस्यों को प्रशिक्षण दिया जाएगा।” वह यह कहते हुए दिखाई दिए कि “राष्ट्रीय नेतृत्व ही तय करेगा कि मंत्रिमंडल का विस्तार किस तरह से किया जाना है और मध्य प्रदेश में कौन-कौन मंत्री बनेगा।” उन्होंने विपक्ष से सकारात्मक रवैये के साथ विधानसभा की कार्यवाही में सहयोग प्रदान करने की आशा जताई है। वो योजनाओं के क्रियान्वयन के साथ मध्य प्रदेश को ऊंचाइयों पर ले जाने की बात कहते दिखाई दिए।

तोमर ने दिया नामांकन

20 दिसंबर को विधानसभा अध्यक्ष का चयन किया जाने वाला है जिसके लिए नरेंद्र सिंह तोमर ने नामांकन दाखिल कर दिया है। तोमर निर्विरोध चुने जाने वाले हैं और उन्हें विपक्ष का भी साथ मिला है। प्रोटेम स्पीकर द्वारा उन्हें बुधवार को शपथ दिलाई जाएगी।

विधायकों को दिलाई जा रही शपथ

16वीं विधानसभा के पहले सत्र में विधायकों को शपथ दिलाई जा रही है। सबसे पहले मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव को विधानसभा सदस्य की शपथ दिलाई गई। इसके बाद उप मुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा और राजेश शुक्ला ने विधानसभा सदस्य के रूप में शपथ ग्रहण की। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी सदस्यता ग्रहण की है। नरेंद्र सिंह तोमर, कैलाश विजयवर्गीय, प्रहलाद पटेल समेत अन्य विधायकों को शपथ दिलाने का सिलसिला लगातार जारी है। कांग्रेस विधायक दल के नेता उमंग सिंगार को प्रोटेम स्पीकर गोपाल भार्गव ने नेता प्रतिपक्ष नियुक्त किया है।

 

कितने विधायक शामिल

विधानसभा सत्र में शामिल होने के लिए अब तक 210 विधायकों ने पंजीयन करवाया है। विधानसभा प्रमुख सचिव के मुताबिक अन्य नवनिर्वाचित विधायक अपना पंजीयन विधानसभा सचिवालय के स्वागत कक्ष में मौजूद अधिकारियों के पास पहुंचकर करवा सकेंगे।

विधानसभा सत्र की रूपरेखा

विधानसभा सत्र के पहले दो दिन विधायकों को शपथ दिलवाई जाएगी। इसके बाद बुधवार को अध्यक्ष का निर्वाचन किया जाएगा। विधानसभा में कुल 163 सदस्य भाजपा के ही हैं इसलिए निर्वाचन निर्विरोध होने वाला है। भाजपा की ओर से अध्यक्ष पद के लिए नरेंद्र सिंह तोमर का नाम तय किया गया है। तोमर को यह जिम्मेदारी दिए जाने के बाद पहली बार ग्वालियर-चंबल अंचल से कोई व्यक्ति विधानसभा अध्यक्ष के पद पर काबिज होगा। अभी तक ये जिम्मेदारी विंध्य और महाकौशल से संबंधित नेता ही निभाते आए हैं।

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कैसे रहेंगे सुरक्षा इंतजाम

दिल्ली लोकसभा के दौरान जो घुसपैठ की घटना हुई है उसने सभी को चिंता में डाल दिया है। यही कारण है कि मध्य प्रदेश विधानसभा सत्र के दौरान कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के इंतजाम किए गए हैं। लगभग 1000 पुलिस जवानों को तैनात किया गया है। जो भी विधायक शामिल होने वाले हैं वह सिर्फ एक ही गेस्ट पास जारी कर सकते हैं। विधानसभा परिसर में प्रवेश से पहले और दीर्घा में जाने से पहले भी जांच की जाएगी।

विधायक एक ही गेस्ट पास जारी कर सकेंगे जिस वजह से उनके परिजन या फिर खास लोग उनके साथ नहीं आ सकते हैं। इसी के चलते विधायकों के शपथ ग्रहण को लेकर अलग व्यवस्था की गई है। जो लोग शपथ ग्रहण देखना चाहते हैं वह मीडिया और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म जैसे माध्यमों का उपयोग कर सकते हैं।

किसे मिलेगा उपाध्यक्ष पद

अध्यक्ष पद के लिए तोमर का नाम तय कर लिया गया है लेकिन उपाध्यक्ष पद को लेकर संशय की स्थिति बनी हुई है। 15वीं विधानसभा के दौरान कांग्रेस के एनपी प्रजापति को अध्यक्ष पद दिया गया था। वाद विवाद के चलते कांग्रेस ने उपाध्यक्ष का पद विपक्ष को ना सौंपते हुए अपनी ही पार्टी के विधायक को दिया था। सत्ता परिवर्तन के बाद विपक्ष को उपाध्यक्ष पद देने की इस परंपरा का पालन भाजपा ने भी नहीं किया था। अब ऐसे में 16वीं विधानसभा का अध्यक्ष चुने जाने के बाद उपाध्यक्ष पद किसे दिया जाता है इसे लेकर फिलहाल स्थिति स्पष्ट नहीं है।

भार्गव ने लिया जायजा

मध्य प्रदेश विधानसभा के प्रोटेम स्पीकर गोपाल भार्गव हैं और उन्होंने 18दिसंबर से शुरू हो रहे विधानसभा सत्र के लिए की गई व्यवस्थाओं का खुद जायजा लिया। सुरक्षा में तैनात किए जाने वाले अधिकारियों तथा जवानों की जानकारी लेने के साथ उन्होंने अपने हाथों से माइक भी चेक किया। विधानसभा परिसर को कड़े सुरक्षा पहरे से घेर दिया गया है।


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"पत्रकारिता का मुख्य काम है, लोकहित की महत्वपूर्ण जानकारी जुटाना और उस जानकारी को संदर्भ के साथ इस तरह रखना कि हम उसका इस्तेमाल मनुष्य की स्थिति सुधारने में कर सकें।” इसी उद्देश्य के साथ मैं पिछले 10 वर्षों से पत्रकारिता के क्षेत्र में काम कर रही हूं। मुझे डिजिटल से लेकर इलेक्ट्रॉनिक मीडिया का अनुभव है। मैं कॉपी राइटिंग, वेब कॉन्टेंट राइटिंग करना जानती हूं। मेरे पसंदीदा विषय दैनिक अपडेट, मनोरंजन और जीवनशैली समेत अन्य विषयों से संबंधित है।

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