भोपाल, डेस्क रिपोर्ट
मध्य प्रदेश में कोरोना का कहर लगातार जारी है, वहीं कोरोना का लेकर प्रदेश में सियासत शुरु हो गई है। मंगलवार को पूर्व सीएम कमलनाथ ने प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह को पत्र लिखा है, जिसमें उन्होंने कोरोना संक्रमण टेस्टिंग पर सवालिया निशान खड़े किए है।
कोरोना पर नियंत्रण पाने का टेस्ट ही एक मात्र तरीका
पूर्व सीएम ने प्रदेश में हो रही टेस्टिंग को लेकर लिखा कि प्रदेश में कोरोना के टेस्ट आज भी अत्यंत कम किये जा रहे है। जबकि आपको विदित है कि इस महामारी से नियंत्रण पाने का एक ही तरीका है कि संक्रमित लोगों को चिन्हित किया जाकर उन्हें स्वस्थ लोगों से पृथक किया जाए।
मध्यप्रदेश कोरोना टेस्ट कराने के मामले में सबसे अंतिम स्थान पर
आगे पूर्व सीएम ने लिखा कि आपके संज्ञान में होगा कि अगस्त 2020 के मध्य तक प्रति 10 लाख व्यक्तियों पर किए गए कोरोना टेस्ट में प्रदेश द्वारा किए गए टेस्ट का औसत लगभग केवल 12 हजार है, जबकि दिल्ली, आंध्रप्रदेश और असम जैसे राज्यों में यह औसत 50 हजार से भी अधिक है और इस प्रकार कोरोना टेस्ट कराने में मध्यप्रदेश की स्थिति कोरोना से सर्वधिक संक्रमित देश के 15 राज्यों में 15 वीं यानि अंतिम है।
प्रदेश में हो रहे कम कोरोना टेस्ट ने बढ़ाई चिंता
पूर्व सीएम ने आगे लिखा कि आपकी सरकार के द्वारा कराये जा रहे कोरोना टेस्ट अत्यंत कम है और यह स्थिति अत्यंत चिंताजनक है। आपकी सरकार के द्वारा इस गंभीर विषय पर चलाये गए अभियान केवल रस्म अदायगी और प्रचार-प्रसार तक की सीमित रहे। स्पष्ट है कि सरकार द्वारा किए जा रहे प्रयास गंभीर नहीं है और प्रदेश के आम जन को संक्रमण से मुक्त कर स्वस्थ जीवन प्रदान करने की तरफ कदम बढ़ाते हुए प्रतीत नहीं हो रहे है।
प्रदेश को कोरोना मुक्त बनाना है
आगे उन्होंने सीएम शिवराज से अनुरोध करते हुए कहा कि आपकी सरकार कोरोना जैसे महत्वपर्ण विषय पर गंभीर प्रयास करे ताकि हमारा प्रदेश न केवल देश में बल्कि वैश्विक स्तर पर संक्रमण मुक्त होने का उदाहरण पेश कर सके और अंतत: हमारा प्रदेश के आम जन को इस महामारी से राहत मिल सके।