भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) में आगामी दिनों में उपचुनाव (By-election) है, ऐसे में प्रदेश में किसानों (Farmers) को लेकर सियासत (Politics) गरमाई हुई है। एक ओर जहां कांग्रेस (Congress) लगातार हो रही किसान आत्महत्या (Farmers Suside) पर बीजेपी (BJP) को घेर रही है वहीं दूसरी तरफ बीजेपी किसान कर्जमाफी (Kisan Karj mafi) को मुद्दा बनाई हुई है।
किसान कर्जमाफी सिर्फ कागजों पर हुई
प्रदेश के सहकारिता मंत्री अरविंद भदौरिया (Arvind Bhadauria) किसानों की कर्ज माफी को लेकर कमलनाथ सरकार (Kamal Nath Government) पर आरोप लगाते हुए कहा है कि कमलनाथ जी की सरकार ने 15 महीने में किसी किसान का कर्ज माफ नहीं किया। कांग्रेस ने बस कागज़ी कार्यवाही में ही किसानों का कर्जा माफ किया है, जमीनी स्तर से कोई काम नहीं किया। प्रदेश के युवाओं को बेरोज़गारी भत्ता न देने पर आरोप लगाते हुए मंत्री भदौरिया ने कहा, कमलनाथ सरकार ने कहा था कि हम बेरोजगार युवाओं को बेरोजगारी भत्ता देंगे लेकिन पिछले 15 माह की सरकार में उन्होंने किसी एक व्यक्ति को भी बेरोजगारी भत्ता नहीं दिया।
उत्खनन के टेंडर कांग्रेस सरकार में हुए
पूर्व सहकारिता मंत्री डॉ. गोविंद सिंह के नदी बचाओ यात्रा पर कहा, पूर्व सहकारिता मंत्री जो नदी बचाओ यात्रा निकाल रहे हैं मैं उनसे पूछना चाहता हूं कि आप अपनी अंतरात्मा में झांक कर यह बताएं की सबसे ज्यादा अवैध उत्खनन किस सरकार में हुआ है। उत्खनन के लिए जो भी टेंडर हुए हैं वह आपकी सरकार के समय के ही हैं। उप चुनाव के समय ही यह सब हो रहा है क्योंकि खिसियानी बिल्ली खंबा नोचे।
ग्वालियर चंबल में नहीं हुआ विकास
मंत्री भदौरिया ने कमलनाथ सरकार पर ग्वालियर चंबल क्षेत्र में विकास ना करने के आरोप लगाए है। उन्होंने कहा, कमलनाथ जी की सरकार ने पिछले 15 महीने के कार्यकाल में ग्वालियर चंबल क्षेत्र में एक पैसे का भी काम नहीं किया। जैसे ही सरकार बदली तो मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ग्वालियर चंबल को सौगात देते हुए 8 हजार करोड़ की लागत से बनने वाले एक्सप्रेस वे का भूमि पूजन कर दिया।