अफसरों पर भड़के विधायक, प्रभारी मंत्री बोले-अब एक्शन के लिए सीधा भोपाल भेजा जाएगा प्रस्ताव

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ग्वालियर

रविवार को प्रभारी मंत्री उमंग सिंघार जिला योजना समिति की बैठक में शामिल होने पहुंचे थे। इस दौरान विधायकों को अधिकारियों पर जमकर गुस्सा फूट पड़ा और उन्होंने मंत्री जी के सामने ही एक के बाद एक अधिकारियों की लापरवाही गिना दी।इस पर प्रभारी मंत्री ने अधिकारियों से दो टूक कहा- मैं इस बार सारे प्वाइंट नोट करके ले जा रहा हूं। यदि अगली बैठक तक काम नहीं हुए तो संबंधित अधिकारी पर एक्शन के लिए सीधा प्रस्ताव भोपाल भेजा जाएगा। 

दरअसल,रविवार को जिला योजना समिति की पहली बैठक आय़ोजित की गई थी, जिसमें कई मुद्दों पर चर्चा की गई। बैठक में प्रदेश सरकार के मंत्रियों और कांग्रेस विधायकों ने प्रभारी मंत्री उमंग सिंघार के सामने अधिकारियों को जमकर घेरा और शहर की खराब सड़कों, बिजली कटौती और बिगड़ी ट्रैफिक व्यवस्था के साथ ही पोषण आहार वितरण व्यवस्था को लेकर सवाल उठाए।खाद्य मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर के प्रतिनिधि देवेंद्र सिंह तोमर ने कहा शहर की सड़कों पर ट्रैफिक लोड बढ़ने से परेशानी ही नहीं हादसे भी  बढ़ रहे हैं। अधिकारी अपनी मनमर्जी से योजनाएं चला रहे हैं । विधायक प्रवीण पाठक ने कहा कि प्रदेश  में बिजली सरप्लस है तो फिर शहर में 4-4 घंटे की कटौती क्यों हो रही है तो वही विधायक मुन्नालाल गोयल ने कहा कि शहर में सड़कों की हालत खराब है। अमृत योजना के टेंडर में शर्त है कि काम खत्म करने के साथ-साथ सड़क पहले की तरह बनाई जाएगी। लेकिन कई क्षेत्रों में ऐसा नहीं हुआ। लोग परेशान हो रहे हैं।वही मंत्री इमरती देवी ने कहा आंगनबाड़ियों में पहुंच रहे पोषण आहार में बहुत कमी है। 

इस दौरान चंबल नदी से पानी लाने के प्रोजेक्ट में बाधक  विभिन्न विभागों  की एनओसी को लेकर भी सवाल खड़े किए गए। जिसके बाद मंत्री ने चंबल प्रोजेक्ट को लेकर नगर निगम कमिश्नर से स्थिति के बारे में जानना चाहा, इस पर निगम कमिश्नर ने कहा कि-सर,फॉरेस्ट से एनओसी का इंतजार है,उसके बाद आगे मामला बढ़ेगा। वही  डीएफओ ने कहा कि किसी ने हमसे एनओसी मांगी ही नहीं है,मांगेगे तभी हम कुछ करेंगे।इसके बाद निगम कमिश्नर और डीएफओ में बहस होने लगी। इस पर मंत्री सिंघार ने अधिकारियों को साफ शब्दों में कहा कि  मैं इस बार सारे प्वाइंट नोट करके ले जा रहा हूं, अगली बैठक तक इन पर काम हो जाए। यदि  काम नहीं हुआ और लापरवाही नजर आई तो संबंधित अधिकारी पर एक्शन के लिए सीधा प्रस्ताव भोपाल भेजा जाएगा।  वही विद्युत वितरण कंपनी के अधिकारियों को आगाह करते हुए कहा कि बेवजह बिजली की कटौती न की जाए। सरकार के पास प्रदेश में बिजली की कमी नहीं है। प्रदेश सरकार द्वारा जोनवार विद्युत सलाहकार समिति बनाई जा रही हैं। सभी विधायकगण व जनप्रतिनिधिगण भी इन समितियों के माध्यम से विद्युत संबंधी समस्याओं का समाधान करा सकते हैं।


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