साध्वी के बयानों से कांग्रेस को मिल रहा फायदा, संघ ने बंद कमरे में दी ये नसीहत

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भोपाल।

अपने बयानों से सुर्खियां बटोर रही भोपाल लोकसभा प्रत्याशी साध्वी प्रज्ञा ठाकुर ने चुनाव से पहले बीजेपी और संघ को मुश्किल में डाल दिया है। लाख समझाइश के बावजूद साध्वी विवादित बयान देने से नही चूक रही है।जिससे संघ और हाईकमान परेशान हो गया है। इधर आयोग भी बयानों को संज्ञान में लेकर  एक के बाद एक नोटिस जारी कर जवाब तलब कर रहा है।  इस पूरे घटनाक्रम के बाद संघ ने साध्वी को नसीहत दी है और इस तरह के बयान देने से मना किया है। 

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दरअसल, शहीद हेमंत करकरे और बाबरी मस्जिद पर विवादित बयान देने के बाद दो दिन पहले साध्वी ने दिग्विजय को लेकर टिप्पणी की थी और उन्हें इशारों ही इशारों में आतंकी कह दिया था। मामले ने तूल पकड़ी और कांग्रेस चुनाव आयोग पहुंच गई और शिकायत की। इधर मामले को संज्ञान में लेते हुए आयोग ने उन्हें नोटिस जारी कर दिया। जब इस बात की खबर हाईकमान को लगी तो वो नाराज हो गया और उन्होंने संघ को साध्वी समझाइश देने को कहा। हाईकमान ने संघ को कहा है कि वे साध्वी को समझाएं कि चुनाव के दौरान क्या बोलना है और क्या नहीं।

संघ ने बात को गंभीरता से लेते हुए शुक्रवार  को साध्वी को आनन-फानन में संघ कार्यालय समिधा बुलाया। कार्यालय में करीब 45  मिनट संघ और साध्वी के बीच बातचीत होती रही। संघ ने साध्वी को नसीहत देते हुए कहा कि लगातार उनके बयानों से विवाद हो रहा है, आयोग नोटिस भेज रहा है, जिससे छवि खराब हो रही है।  वे अपने शब्दों पर ध्यान दे , ऐसे बयान देने से बचे जिससे विवाद हो रहा हो या आचार संहिता का उल्लंघन ।साथ ही यह भी कहा कि उनके इस तरह के बयान देने से कांग्रेस को फायदा मिल रहा है। लोगों के बीच में गलत मैसेज जा रहा है, जिससे वोटों पर असर पड़ सकता है।नसीहत के बाद साध्वी ने दिग्विजय के बयान को लेकर यू-टर्न ले लिया और कहा कि  मैंने दिग्विजय को आतंकी नहीं कहा।

गौरतलब है कि नाम के ऐलान के बाद ही साध्वी प्रज्ञा ठाकुर महाराष्ट्र के एटीएस प्रमुख रहे हेमंत करकरे को लेकर विवादित टिप्पणी कर दी थी जिसके बाद जमकर बवाल मचा था। बात चुनाव आयोग तक पहुंची थी, वही मराठी समाज और अन्य संगठनों ने साध्वी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया था, हालांकि विवाद बढ़ने के बाद उन्होंने यू टर्न ले लिया था। अभी ये मामला ठंड़ा ही हुआ था कि उन्होंने अयोध्या में विवादित ढांचा गिराए का दावा कर फिर विवाद को हवा दे दी। इस पर कांग्रेस ने आपत्ति जताई और साध्वी को चुनाव आयोग ने नोटिस जारी कर जवाब तलब करने को कहा। इस दौरान पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज ने साध्वी को बुलाया और समझाइश दी कि इस तरह के बयान ना दे । लेकिन इसका कोई असर नही हुआ और साध्वी ने फिर बम फोड दिया और दिग्विजय को आंतकी कह डाला। जिसके बाद  फिर जमकर बवाल मचा।कांग्रेस चुनाव आयोग पहुंच गई और शिकायत कर दी। इधर हाईकमान भी नाराज हो गया और उन्होंने संघ को साध्वी को नसीहत देने को कहा।जिसके बाद उन्होंने अपने बयान को बदला। 


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