ग्वालियर। ग्वालियर में आज एक बड़ा हादसा टल गया। वरना नगर निगम अधिकारियों की लापरवाही से गंभीर घटना हो जाती। घटना गोरखी पानी की टंकी गिराने के दौरान हुई। पुरानी और जर्जर हो चुकी पानी की टंकी को आज नगर निगम को गिराना था। निगम ने विशेषज्ञों की मौजूदगी में ब्लास्ट कर टंकी गिरा दी लेकिन टंकी गिरते ही आसपास बने तीन घर भी उसकी चपेट में आ गए उनकी दीवारें टूट गईं। घरों में आई दरार की जानकारी लगते ही नगर निगम के अधिकारी मौके से भाग गए।
ग्वालियर दक्षिण विधानसभा क्षेत्र में स्थित गोरखी पानी की टंकी बहुत पुरानी हो चुकी थी। जर्जर हो चुकी इस टंकी को गिराने के फैसले के तहत नगर निगम ने पानी की टंकी को गिराने के लिए विशेषज्ञ विजय सर्वटे के नेतृत्व में टंकी में छेद कर उसमें बारूद भर दिया और टंकी में ब्लास्ट कर दिया। ब्लास्ट होते ही टंकी भरभराकर गिर पड़ी लेकिन साथ में पास में ही बने तीन घरों को भी उसने अपनी चपेट में ले लिया। दो घरों में दीवारों में दरार पड़ गई जबकि तीसरे की एक दीवार ढह गई। घटना होते ही लोग आक्रोशित हो गए तो अधिकारी मौके से फरार हो गए। इसी बीच किसी ने स्थानीय विधायक प्रवीण पाठक को फोन कर दिया। विधायक पाठक ने मौके पर पहुँचते ही अधिकारियों को तलब किया तो कोई मौके पर मौजूद नहीं था । उसके बाद उन्होंने कलेक्टर भरत यादव और नगर निगम कमिश्नर को फोन लगाकर घटना की जानकारी दी। विधायक के पहुँचने की सूचना पर अधिकारी मौके पर पहुँच गए और अपनी सफाई पेश करने लगे तो उन्होंने एक्जीक्यूटिव इंजीनियर आर एन करैया को जमकर फटकार लगाई। उन्होंने कलेक्टर से बात कर पीड़ितों को 50 – 50 हजार रुपये की राशि स्वीकृत कराई साथ ही नगर निगम के एसई आरएलएस मौर्य को जनता के सामने ही हामी भरवाई कि क्षतिग्रस्त घरों की रिपेयरिंग का खर्चा नगर निगम उठाएगा।
पत्रकारों से बात करते हुए विधायक पाठक ने घटना को बड़ी लापरवाही बताया और कहा कि इस बात की जांच कराई जाएगी कि टंकी को गिराए जाने के समय सुरक्षा मानकों का ध्यान रखा गया कि नहीं। और जब घटना हुई तो जिम्मेदार अधिकारी वहां से क्यों भाग गए। उन्होंने कहा कि वे वरिष्ठ अधिकारियों से कहकर मामले की जांच कराकर दोषियों को सजा की बात कहेंगे।