Gwalior News : प्रियंका गांधी की सभा में भीड़ जुटाने और कार्यकर्ताओं में जोश भरने के लिए दिग्विजय सिंह आज ग्वालियर आये, सुबह उन्होंने डबरा विधानसभा में कार्यकर्ताओं की बैठक ली फिर भितरवार विधानसभा गए और फिर जिले की ग्रामीण विधानसभा में कार्यकर्ताओं की बैठक ली, मीडिया से बात करते हुए दिग्विजय सिंह ने एक बार फिर मप्र में कांग्रेस की सरकार बनने का दावा किया।
रानी लक्ष्मीबाई को लेकर भाजपा पर पलटवार
दिग्विजय सिंह ने कहा कि 21 जुलाई को प्रियंका गांधी ग्वालियर आ रही हैं, ग्वालियर व्यापार मेला मैदान में उनकी सभा ऐतिहासिक होगी हमें उम्मीद है एक लाख लोग इसमें जुटेंगे। भाजपा द्वारा प्रियंका के रानी लक्ष्मीबाई की समाधि पर जाने पर सवाल खड़े करने का जवाब देते हुए दिग्विजय ने प्रतिप्रश्न किया कि हम तो हमेशा से लक्ष्मीबाई की जयंती और पुण्यतिथि पर कार्यक्रम करते आये हैं भाजपा बताये उनको कितनी बार रानी लक्ष्मीबाई की याद आई।
![आखिर दिग्विजय सिंह ने क्यों कहा? मुझे नरेंद्र सिंह तोमर के साथ सहानुभूति है](https://mpbreakingnews.in/wp-content/uploads/2023/07/mpbreaking55894396.jpg)
दिग्विजय बोले – मुझे नरेंद्र सिंह तोमर के साथ सहानुभूति है
मीडिया ने जब दिग्विजय सिंह से नरेंद्र सिंह तोमर को चुनाव समिति का संयोजक बनाने पर उनकी प्रतिक्रिया चाही तो उन्होंने कहा कि भाजपा ने नरेंद्र सिंह तोमर को 20 साल तक मध्य प्रदेश की राजनीति से बाहर रखा, अब तब उनको लाया जा रहा है, जब शिवराज सरकार के भ्रष्टाचार की खबरें गांव-गांव तक पहुंच चुकी हैं, बेचारे नरेंद्र सिंह तोमर 3 महीने में क्या करेंगे? मेरी नरेंद्र सिंह तोमर के साथ सहानुभूति है।
ज्योतिरादित्य सिंधिया के अस्तित्व पर की ये टिप्पणी
नरेंद्र सिंह की नियुक्ति के बाद ज्योतिरादित्य सिंधिया के कद को लेकर उठ रहे सवाल पर दिग्विजय सिंह ने कहा कि भाजपा ने उनका अस्तित्व घटाया ही है , हम तो उनको महाराज-महाराज कहते थे, मुख्यमंत्री के दावेदार हुआ करते थे, आज वो कहा हैं?
आम आदमी के मप्र में प्रभाव को दिग्विजय ने नकारा
दिग्विजय सिंह ने आम आदमी पार्टी के मध्य प्रदेश के चुनाव में प्रभाव के सवाल पर कहा कि मुझे मध्य प्रदेश में आम आदमी पार्टी का कोई अस्तित्व नजर नहीं आता, उन्होंने पटवारी भर्ती परीक्षा को भी निरस्त करने की तत्काल मांग की। दिग्विजय ने मध्य प्रदेश में गरीबी घटने के दावों पर सवाल खड़े किये।
ग्वालियर से अतुल सक्सेना की रिपोर्ट