इंदौर।
लोकायुक्त पुलिस के हत्थे चढ़े इंदौर वन मंडल के महू-मानपुर रेंज के एसडीओ आरएन सक्सेना की मुश्किलें बढ़ती हुई नजर आ रही है।लोकायुक्त ने एसडीओ आरएन सक्सेना को हटाने के लिए शासन को पत्र लिखा है। वहीं आयकर विभाग को पत्र लिख कर सक्सेना और परिजन के इनकम टैक्स रिटर्न की जानकारी भी मांगी है।
खबर है कि सक्सेना ने सरकारी बजट को कागजों में खर्च कर भी भारी पैसा कमाया है।अब इनकी बारीकी से जांच की जाएगी। सक्सेना के बैंक खातों में जमा 82 लाख रुपए, होस्टल, प्लॉट, प्लायवुड फैक्टरी के दस्तावेज आयकर को सौंपे जाएंगे, ताकि यह पता लगाया जा सके कि उन्होंने इतने पैसों का हिसाब विभाग को दिया है या नहीं? वहीं एसपी ने वन विभाग के प्रमुख सचिव को भी पत्र लिखा है कि सक्सेना को महू से हटाया जाए।
ये है पूरा मामला
लोकायुक्त टीम ने रविवार अल सुबह लोकायुक्त टीम ने वन विभाग में पदस्थ एसडीओ रामनारायण सक्सेना के घर सहित अन्य ठिकानों पर आय से अधिक संपत्ति के मामले में छापे मारे थे। छापे में साढ़े छह लाख से ‘यादा की नकदी और सोना-चांदी के जेवरात के साथ करोड़ों की चल-अचल संपत्ति संबंधित दस्तावेज एवं एक दर्जन बैंक खातों के दस्तावेज बरामद हुए थे। सोमवार को बैंक खातों की जांच में 80 लाख नकदी और स्वर्ण आभूषण भी मिले हैं। मंगलवार को क्रिसमस अवकाश के चलते बैंकों से बाकी खातों की जानकारी नहीं मिल पाई है। सोमवार को लोकायुक्त टीम ने सक्सेना के चाचा ससुर के निवास पर भी सर्चिंग की। यहां भी संपत्ति के साथ के कागजों के साथ नकदी और दस तोला सोना मिला है। सूत्रों के अनुसार जिन लोगों के नाम से संपत्ति मिल रही है, उन्हें भी आरोपी बनाया जा सकता है। लोकायुक्त ने वनविभाग के आला अधिकारियों को पत्र लिख सक्सेना का सर्विस रेकार्ड मांगा है। साथ ही लाखों की नकदी मिलने पर इनकम टैक्स विभाग और संपत्तियों की जानकारी के लिए रजिस्ट्रार कार्यालय से भी जानकारी मांगी गई है।
गौरतलब है कि वन विभाग के चार अधिकारी पिछले छह साल में लोकायुक्त की कार्रवाई में फंस चुके हैं। दो अफसर रंगेहाथ रिश्वत लेते, दो अफसर फर्जी पेपर बनाकर पैसे हड़पने और अब सक्सेना आय से अधिक संपत्ति में फंसे हैं। 2016 में मोर के लिए दाना-पानी का घोटाला करने पर रेंजर फतेसिंह निनामा, तत्कालीन एसडीओ ओपी शर्मा, 2014 में डिप्टी रेंजर सतबीरसिंह सोलंकी रंगेहाथ पकड़ाए थे, 2016 में डिप्टी रेंजर एपी दुबे भी इसी तरह इंदौर रेंज कार्यालय में पकड़ाए थे। सक्सेना पिछले 13 साल से इंदौर में ही पदस्थ हैं। उन्होंने 2013 के विधानसभा चुनाव में भी इंदौर में ही ड्यूटी की थी और इस विधानसभा में भी शामिल थे। चुनाव आयोग को भी इसकी शिकायत की जा चुकी है।