जबलपुर, संदीप कुमार। जबलपुर (jabalpur) में ऑक्सीजन प्लांट (oxygen plant) में अचानक ही गड़बड़ी आने से लिक्विड प्लांट (liquid plant) ने काम करना बंद कर दिया। जिसके बाद नागपुर (nagpur) से आई टीम प्लांट को ठीक करने में जुटी हुई है। कोरोना महामारी (corona pandemic) के बीच जिस चीज की इंसान को सबसे ज्यादा जरूरत है वही वक्त पर धोखा दे गई। हम बात कर रहे है जबलपुर में लगे ऑक्सीजन प्लांट की जो कि देर रात अचनाक ही खराब हो गया। हालांकि खराब हुए प्लांट को बनाने के लिए सुबह नागपुर से इंजीनियर (engineers) की टीम आई है। दावा किया जा रहा है कि आज प्लांट में आई गड़बड़ी को ठीक कर लिया जाएगा।
यह भी पढ़ें… बढ़ते संक्रमण के बीच इंदौर की मदद के लिए आगे आए सोनू सूद
रिछाई स्थित लिक्विड प्लांट में आई गड़बड़ी
बताया जा रहा है कि रिछाई स्थित ऑक्सीजन इंडस्ट्री के लिक्विड प्लांट में बुधवार की रात अचानक ही तकनीकी खराबी आई जिससे ऑक्सीजन को लेकर शहर के अस्पतालों में हाहाकार मच गया। क्योंकि इस समय ऑक्सीजन के एक-एक सिलेंडर के लिए मारामारी मच गई। प्लांट के बाहर अस्पतालों की गाडिय़ों की कतार लग गई। ऐसे में एयर सेपरेशन प्लांट से जितनी ऑक्सीजन बन पा रही थी, उससे सप्लाई की जा रही है।
जिले में आक्सीजन के दो प्लांट एक हुआ खराब
जानकारी के मुताबिक लिक्विड प्लांट को सुधारने के लिए इंजीनियर की टीम नागपुर से जबलपुर पहुँच चुकी है। ऐसें में आज प्लांट में सुधर हो सकता है। जिले में ऑक्सीजन के लिए रिछाई औद्योगिक क्षेत्र में दो प्लांट हैं। उनमें जैनिम इंडस्ट्रीज प्राइवेट लिमिटेड का लिक्विड प्लांट अभी बंद है। सिर्फ आदित्य एयर प्रोडक्ट प्राइवेट लिमिटेड में चल रहे दो प्लांट से ऑक्सीजन की सप्लाई शहर के निजी एवं सरकारी अस्पतालों में हो रही थी लेकिन उसमें खराबी आ जाने से लोगो को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
यह भी पढ़ें… पूर्व विधायकों को बड़ा तोहफा देने की तैयारी में शिवराज सरकार, विधानसभा सचिवालय ने मांगे नाम
लिक्विड प्लांट ने काम करना किया बन्द
जिस इंस्ट्रीज का प्लांट खराब हुआ हैं उसमे लिक्विड के जरिए ऑक्सीजन तैयार होती है जबकि दूसरा एयर सेपरेशन प्लांट हैं। उसमें कंप्रेशर के जरिए ऑक्सीजन बनती है,बताया जाता है कि बुधवार को यहां चल रहे लिक्विड प्लांट के पंप में अचानक खराबी आ गई। उसने लिक्विड को खींचना बंद कर दिया। ऐसे में ऑक्सीजन की रीफिलिंग होना बंद हो गई। जब इसकी जानकारी प्रशासन को लगी तो हडकंप मच गया। आला अधिकारी प्लांट में पहुंचे और स्थितियों का जायजा लिया। स्थानीय स्तर पर पंप को सुधारने का प्रयास किया गया लेकिन सफलता नहीं मिलने के कारण फिर नागपुर से इंजीनियर को बुलाया गया।