भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव (Higher Education Minister Dr. Mohan Yadav) का बड़ा बयान सामने आया है। उच्च शिक्षा मंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए है कि ऐसे महाविद्यालय (College) जिनमें बाउंड्रीवाल नहीं है उनमें प्राथमिकता के तौर पर बाउंड्रीवाल निर्माण कराया जाए, साथ ही ऐसे महाविद्यालय जिनमें एप्रोच रोड का अभाव है उन महाविद्यालयों में अतिशीघ्र एप्रोच रोड का निर्माण कराया जाए।
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आज सोमवार को मंत्रालय में निर्माण कार्यों की समीक्षा के दौरान उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि निर्माण एजेंसियों द्वारा विभागीय निर्माण कार्य निर्धारित समय-सीमा में अनिवार्य रूप से पूर्ण कराये जायें। जिन भवनों का निर्माण कार्य 90 प्रतिशत तक पूर्ण हो चुका है उन्हें मार्च तक, 60 प्रतिशत निर्माण कार्य वाले भवनों को अप्रैल तक तथा 40 प्रतिशत निर्माण कार्य वाले भवनों को माह जून 2021 तक पूर्ण कराया जाए।
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मंत्री डॉ. यादव द्वारा निर्देशित किया गया कि उज्जैन में ऑडिटोरियम हॉल, सभी अतिरिक्त संचालक कार्यालयों में नवीन भवन तथा पेयजल की स्थायी व्यवस्था के लिए विभाग के अधिकारियों व निर्माण एजेंसियों के प्रतिनिधियों को निर्देशित किया गया। आगामी वित्तीय वर्ष के बजट (Budget) में MP के आदिवासी क्षेत्रों में भवन विहीन महाविद्यालयों के नवीन भवन निर्माण प्राथमिकता के तौर पर कराए जाएं। निर्माण कार्यों में अन्य विश्वविद्यालयों के साथ महर्षि पाणिनी संस्कृत विश्वविद्यालय, उज्जैन (Ujjain) को भी सम्मिलित किया जाए।