Employees Retirement Age, Retirement Age Hike : कर्मचारियों के लिए बड़ी खबर है। उनके सेवानिवृत्ति आयु 3 वर्ष की वृद्धि की जाएगी। इसके लिए तैयारी शुरू कर दी गई है। वहीं सेवानिवृत्ति आयु में वृद्धि का मसौदा भी तैयार कर लिया गया है। इसके साथ ही कर्मचारियों को कई महत्वपूर्ण लाभ मिलेगा। इस प्रस्ताव को कैबिनेट की बैठक में रखा जाएगा। वहां मंजूरी मिलने के साथ ही से लागू कर दिया जाएगा।
दरअसल उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सेवा संवर्ग के तहत चिकित्सकों की सेवानिवृत्ति आयु बढ़ाने का निर्णय लिया गया है। उनकी सेवानिवृत्ति आयु 3 वर्ष की वृद्धि की जाएगी।वही यह बढ़कर 62 से 65 वर्ष हो जाएंगे। सेवानिवृत्ति आयु में वृद्धि के लिए प्रस्ताव तैयार कर लिया गया हालांकि 62 साल के बाद डॉक्टर प्रशासनिक पद पर कार्य नहीं कर सकेंगे। वह सिर्फ मरीजों के उपचार के लिए कार्य करेंगे। कैबिनेट की बैठक में इस प्रस्ताव को रखा जाएगा। इतना ही नहीं सेवानिवृत्ति आयु में वृद्धि के साथ एक अन्य प्रस्ताव तैयार किया गया। जिसके तहत डॉक्टर अपनी इच्छा से वीआरएस ले सकेंगे।
बता दें कि प्रदेश में प्रादेशिक चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सेवा संवर्ग के डॉक्टरों की करीब 6000 पद खाली चल रहे हैं। इन पदों को भरने के लिए प्रयास किया जा रहा है। स्वास्थ्य विभाग की ओर से वर्तमान में कार्यरत चिकित्सकों की सेवानिवृत्ति आयु 62 से बढ़ाकर 65 वर्ष करने का मसौदा तैयार किया गया है। वहीं नई नियमावली के मसौदे में कई विकल्प दिए गए हैं। जिसमें व्यवस्था की गई है कि 62 साल की उम्र सीमा तक चिकित्सक प्रशासनिक पद पर रहेंगे। हालांकि इसके बाद वह 3 साल तक केवल मरीजों का उपचार करेंगे।
ले सकेंगे स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति
प्रस्ताव में यह भी रखा गया है कि निदेशक महानिदेशक जैसे पद पर कार्य करने वाली डॉक्टर और 62 साल के बाद मरीजों के उपचार में लगने की इच्छा नहीं रखने वाले चिकित्सक स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति ले सकेंगे। ऐसे में उनको वीआरएस मंजूर करने में किसी भी तरह की पाबंदी नहीं लगाई जाएगी।
प्रस्ताव तैयार
प्रदेश के चिकित्सकों की राय, दूसरे राज्यों की व्यवस्था और मूल्यांकन करने के बाद प्रस्ताव को तैयार किया गया है। इसके अलावा 62 साल की उम्र में सेवानिवृत्त होने वाले चिकित्सक अपनी इच्छा के मुताबिक 3 साल तक दोबारा नियुक्ति हासिल कर मरीजों की सेवा कर सकेंगे। इसके एवज में उन्हें अंतिम तनख्वाह के बराबर भुगतान किया जाएगा। हालांकि इस भुगतान में पेंशन की राशि कम दी जाती है और 65 साल की उम्र में रिटायर होने वाले भी अगले 3 साल तक दोबारा नियुक्त होने के साथ ही मरीजों की सेवा कर सकेंगे। अगली कैबिनेट की बैठक में प्रस्ताव को रखा जा सकता है। जिसके बाद इस पर मुहर लगते ही सेवानिवृत्ति आयु में वृद्धि कर दी जाएगी।