Maharashtra Politics News: महाराष्ट्र में राजनीतिक हलचल का दौर लगातार जारी है। एनसीपी में मची बगावत के बाद अजीत पवार और शरद पवार को अपनी ताकत का प्रदर्शन करते हुए देखा जा रहा है। मुंबई के बांद्रा में रखी गई बैठक के दौरान अजीत पवार ने अपनी सीएम बनने की इच्छा भी जाहिर की है। उधर शरद पवार ने अजीत के इस रवैये को गलत ठहराया है और आज एक बार फिर पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक बुलाई है। इस बैठक के लिए वह 10 बजे मुंबई से दिल्ली के लिए रवाना होंगे।
सीएम बनना चाहते हैं अजित
बैठक के दौरान अजीत पवार को अपना दर्द और इच्छा जाहिर करते हुए देखा गया। उन्होंने कहा कि मैंने 5 बार डिप्टी सीएम के रूप में शपथ ली है लेकिन यह सिलसिला यहीं पर आकर ठहर गया है। मेरे पास कुछ प्लान है, जो मैं क्रियान्वित करना चाहता हूं। लेकिन उसके लिए मुख्यमंत्री पद जरूरी है और मैं दिल से मुख्यमंत्री बनना चाहता हूं।
वहीं दूसरी ओर पार्टी में एकनाथ शिंदे के इस्तीफे की अटकलों पर विराम लगा दिया है और यह कह दिया है कि इसका सवाल ही नहीं उठता। शिंदे के पास 200 से ज्यादा विधायकों का समर्थन है और कोई भी ना खुश नहीं है।
शरद पवार के हाथ से निकला अध्यक्ष पद
राजनीतिक खींचतान के बीच अजीत पवार के समर्थक विधायकों ने शरद पवार को ऐसे भी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पद से बेदखल कर दिया है। अजित पवार गुट की ओर से बयान जारी करते हुए यह जानकारी दी गई है कि चुनाव आयोग को एक हलफनामे के जरिए यह सूचित किया गया है कि बहुमत के आधार पर अजीत पवार को एनसीपी का अध्यक्ष घोषित किया जा रहा है।
चाचा भतीजे का शक्ति प्रदर्शन
बीते दिन एक ही पार्टी के दो धड़ों को अपना अपना शक्ति प्रदर्शन करते हुए देखा गया। अजित पवार अपने 32 विधायकों के साथ दिखाई दिए, तो शरद पवार के साथ 18 विधायक थे। वहीं तीन विधायक ऐसे हैं, जो किसी के साथ नहीं हैं।
शिंदे पार्टी में विरोध के सुर
अजित पवार को पार्टी में शामिल किए जाने के बाद सीएम शिंदे के गुट में भी नेताओं के बीच नाराजगी देखी जा रही है। शिवसेना और बीजेपी दोनों के ही विधायकों का कहना है कि हमें किसी और को पार्टी में शामिल करने की बिल्कुल भी जरूरत नहीं थी। नेताओं की बात सुनने के बाद मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री ने सभी के साथ न्याय होने का आश्वासन दिया है।