दिल्ली, डेस्क रिपोर्ट। पिछलें डेढ़ साल से पूरी दुनिया में कोरोना ने कहर बरपा रखा है। देश मे भी दूसरी लहर में बड़ी संख्या में लोगो ने कोरोना पॉजिटव होने के चलते जान गवां दी थी, हालात अभी संभले ही थे कि एक बार फिर तीसरी लहर ने लोगों को डरा दिया। लेकिन राहत भरी खबर सामनें आई है। कहा जा रहा है कि भारत में कोरोना वायरस की तीसरी लहर अक्टूबर और नवंबर के बीच चरम पर हो सकती है लेकिन इसकी तीव्रता दूसरे चरण की तुलना में काफी कम होगी।
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दरअसल यह दावा शोध के बाद किया गया है। महामारी के गणितीय प्रारूपन में शामिल एक वैज्ञानिक ने यह दावा किया है। आईआईटी-कानपुर के वैज्ञानिक मणिंद्र अग्रवाल ने कहा कि अगर कोई नया स्वरूप नहीं आता है तो स्थिति में बदलाव की संभावना नहीं है। वह तीन सदस्यीय विशेषज्ञ दल का हिस्सा हैं जिसे संक्रमण में बढ़ोतरी का अनुमान लगाने का कार्य दिया गया है। टीम ने शोध के बाद इस बात को माना है कि अगर नया म्युटेशन नहीं होता है तो इसी तरह की स्थिति बनी रहेगी और सितंबर तक अगर 50 फीसद ज्यादा संक्रामक म्युटेशन सामने आता है तो नया स्वरूप सामने आएगा। उन्होंने बताया कि कि नये स्वरूप से ही तीसरी लहर आएगी और उस स्थिति में नए मामले बढ़कर प्रतिदिन एक लाख हो जाएंगे।
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और अब सुकून देती खबर की देश में समय से पहले पूरा हो सकता है संपूर्ण टीकाकरण अभियान, दरअसल मुहिम में जिस तरह से लोगों में उत्सुकता और जागरूकता नज़र आ रही है। उससे तेजी से उम्मीद जागी है फिलहाल देश में वैक्सीनेशन का आंकड़ा 64 करोड़ के पार हो गया है। देश में कोरोना टीकाकरण की बढ़ी रफ्तार ने समय से पहले संपूर्ण टीकाकरण की उम्मीद बढ़ा दी है। सोमवार तक देश में वैक्सीन की 64 करोड़ डोज दी जा चुकी हैं। 31 दिसंबर 2021 तक 94 करोड़ वयस्कों को कुल 188 करोड़ डोज उपलब्ध कराने का लक्ष्य है। टीके की बढ़ी उपलब्धता के बल पर देश में एक दिन में एक करोड़ से अधिक डोज लगाने का रिकार्ड भी बना है।