जयंत मलैया के समर्थन में पोस्टर वार शुरू, चाय दुकानदार ने लगाया ‘बिकाऊ नहीं टिकाऊ विधायक चाहिए’

Gaurav Sharma
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दमोह, गणेश अग्रवाल। विधानसभा से कांग्रेस के विधायक रहे राहुल सिंह लोधी के द्वारा विधानसभा सदस्य पद से इस्तीफा दिए जाने के बाद अब दमोह में लगातार ही राजनीतिक घटनाक्रम बदलने लगा है। जहां भारतीय जनता पार्टी के कद्दावर नेता पूर्व वित्त मंत्री जयंत मलैया अपनी दावेदारी को लेकर लगातार चर्चाओं में है, तो वहीं अब उनके समर्थन में शहर के अंदर पोस्टर वार भी शुरू हो गया है।

राहुल सिंह लोधी के भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने के बाद दीपावली के अवसर पर बड़े-बड़े होर्डिंग दमोह शहर सहित पूरे विधानसभा क्षेत्र में लगाए गए। जिसमें उनको बड़े नेता के रूप में प्रस्तुत किया गया, तो वहीं 35 वर्षों से दमोह की राजनीति में भाजपा के बैनर पर कद्दावर नेता रहे जयंत मलैया को उनके समर्थक आगामी प्रत्याशी के रूप में चाहते है। ऐसे में अब दुकानदारों के द्वारा उनके समर्थन में अपनी दुकानों पर पोस्टर लगाए जा रहे है।

एक चाय के दुकानदार के द्वारा एक पोस्टर अपनी दुकान के बाहर लगाया गया है और वह पोस्टर अब चर्चाओं में है। इस पोस्टर में उसने ‘बिकाऊ नहीं टिकाऊ विधायक चाहिए’ जैसे शब्दों का प्रयोग करते हुए पोस्टर लगाया है। साथ ही साफ तौर पर कहा है कि उन्हें विधायक के रुप में केवल जयंत मलैया ही चाहिए, कोई दल बदलू वर्तमान भाजपा नेता राहुल सिंह लोधी नहीं। ऐसे में आगामी दिनों में राजनीतिक घटनाक्रम के बदलने और गर्म होने का मामला सामने आ सकता है। साथ ही भाजपा में ही पोस्टर वार और गुटबाजी के हालात भी देखने मिल सकते वहीं चाय दुकानदार का है। पोस्टर अब तेजी से वायरल भी हो रहा है।

कांग्रेस की टिकट पर चुनाव लड़ने वाले राहुल सिंह लोधी ने बीते चुनाव में भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी जयंत मलैया को शिकस्त दी थी। वहीं उनके द्वारा भारतीय जनता पार्टी का दामन थाम लिए जाने के बाद अब आगामी दिनों में दमोह विधानसभा पर उपचुनाव के हालात है। ऐसे में भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी के रूप में राहुल सिंह लोधी ही चुनाव मैदान में होंगे, ऐसा कयास लगाया जा रहा है। इसलिए दमोह में जयंत मलैया के समर्थक अब उनके समर्थन में पोस्टर लगाकर उनकी दावेदारी को मजबूत करने में लगे है।

 


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पत्रकारिता पेशा नहीं ज़िम्मेदारी है और जब बात ज़िम्मेदारी की होती है तब ईमानदारी और जवाबदारी से दूरी बनाना असंभव हो जाता है। एक पत्रकार की जवाबदारी समाज के लिए उतनी ही आवश्यक होती है जितनी परिवार के लिए क्यूंकि समाज का हर वर्ग हर शख्स पत्रकार पर आंख बंद कर उस तरह ही भरोसा करता है जितना एक परिवार का सदस्य करता है। पत्रकारिता मनुष्य को समाज के हर परिवेश हर घटनाक्रम से अवगत कराती है, यह इतनी व्यापक है कि जीवन का कोई भी पक्ष इससे अछूता नहीं है। यह समाज की विकृतियों का पर्दाफाश कर उन्हे नष्ट करने में हर वर्ग की मदद करती है।इसलिए पं. कमलापति त्रिपाठी ने लिखा है कि," ज्ञान और विज्ञान, दर्शन और साहित्य, कला और कारीगरी, राजनीति और अर्थनीति, समाजशास्त्र और इतिहास, संघर्ष तथा क्रांति, उत्थान और पतन, निर्माण और विनाश, प्रगति और दुर्गति के छोटे-बड़े प्रवाहों को प्रतिबिंबित करने में पत्रकारिता के समान दूसरा कौन सफल हो सकता है।

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