मुरैना, डेस्क रिपोर्ट। मध्य प्रदेश (Madhya pradesh)में होने वाले 28 सीटों पर उपचुनाव (By election) के लिए बीजेपी (BJP) लगातार ताबड़तोड़ रैलियां कर रही है। इस बीच मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chauhan) कई बार जनता के बीच कहते नजर आए हैं कि यह चुनाव नई सरकार बनाने का नहीं बल्कि पुरानी सरकार को परमानेंट करने का है। इसी बात को दोहराते हुए कल मुरैना विधानसभा क्षेत्र में उन्होंने जन संवाद के दौरान कहा कि यदि इस उपचुनाव में भाजपा नहीं जीती तो मैं सीएम भी नहीं रह पाऊंगा और मुझे झोला टांग कर जाना पड़ेगा।
दरअसल मुरैना के खड़कपुर भर्राड़ में जनसभा को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि मुरैना की जनता शिवराज सिंह चौहान को जानती है। मुरैना भी जितना भी विकास हुआ है वह भाजपा के 15 वर्ष के कार्यकाल के दौरान किया गया है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि केंद्र में एक है राहुल गांधी कांग्रेस और मध्यप्रदेश में है कमलनाथ कांग्रेस! राहुल गांधी जी कुछ बोलें तो कमलनाथ जी उसे नकार देते हैं। ऐसे नेताओं का मध्यप्रदेश में क्या काम!
वही सीएम शिवराज (CM Shivraj) ने कहा कि पूर्व मंत्री रुस्तम सिंह (Rustom singh) ने अपने कार्यकाल में सड़कें, बिजली आदि का निर्माण कराया था। वही बीजेपी प्रत्याशी रघुराज सिंह कंसाना (Raghuraj Singh Kansana) के पक्ष में वोट देने की अपील करते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि कमलनाथ (Kamalnath) के 15 महीने की सरकार ने गरीबों के साथ खिलवाड़ किया है। गरीबों से जुड़ी सारी योजनाएं को बंद कर दी। जिसे हमने सत्ता में वापस आते शुरू किया है। सीएम शिवराज (CM Shivraj) ने कहा कि मैंने किसान सम्मान निधि के 6 हजार रुपये में प्रदेश सरकार की ओर से जोड़कर 4 हजार रुपये देने का फैसला किया है। अब हमारे किसानों को हर साल 10 हजार रुपये मिलेंगे। मैंने किसानों के कल्याण के लिए पिछले 6 माह में 24 हजार करोड़ रुपया खर्च किया
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इधर मुरैना विधानसभा प्रत्याशी रघुराज सिंह कंसाना ने कांग्रेस (Congress) पार्टी पर निशाना साधते हुए कहा कि 15 महीने में कमलनाथ ने हमें सिर्फ अपमान दिया है। हमने जनता से वादे किए थे। उसे भी पूरा करना था और अगर हम कांग्रेस के सत्ता में चुपचाप बैठे रहते हैं तो जनता हमें माफ नहीं कर पाती। इस कारण से हमें कांग्रेस से इस्तीफा देना पड़ा और दोबारा चुनाव लड़ने का निर्णय लिया।
बता दे के उपचुनाव को लेकर भाषा की तरफ से अलग-अलग प्रतिक्रिया रही है। एक तरफ जहां ज्योतिरादित्य सिंधिया (jyotiraditya scindia) इस उपचुनाव को सिंधिया का उपचुनाव मान रहे हैं। वहीं दूसरी तरफ मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का कहना है कि यह नई सरकार बनाने की नहीं बल्कि पुरानी सरकार को स्थाई करने का उपचुनाव है। वहीं कांग्रेस लगातार इस उपचुनाव को संवैधानिक मर्यादा से जोड़ते हुए संविधान हनन की दुहाई दे रही है। वहीं मध्यप्रदेश में 3 नवंबर को उपचुनाव के लिए मतदान होने हैं। वहीं 10 नवंबर को परिणाम सामने आएंगे। इससे पहले दोनों पार्टियां अपने अपनी जीत का बड़ा दावा कर चुकी है।