नई दिल्ली, डेस्क रिपोर्ट। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया क्रेडिट-डेबिट कार्ड और ऑनलाइन पेमेंट (Online Payment) को लेकर बड़ा बदलाव करने जा रहा है। ग्राहकों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए आरबीआई अक्सर नए-नए बदलाव करता है। 1 अक्टूबर से बैंकिंग से जुड़ी कई एहम बदलाव होने जा रहा हैं, जिसके लिए आरबीआई ने निर्देश भी जारी कर दिया है। सितंबर खत्म होते की कार्ड-ऑन-फाइल टोकनाइजेशन नियम लागू हो जाएगा। आरबीआई के मुताबिक इस नए नियम के तहत ग्राहकों की सुरक्षा और सुविधाएं और भी ज्यादा अच्छी हो जाएगी।
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केन्द्रीय बैंक के मुताबिक कार्ड टोकनाइजेशन नियम आने के बाद धोखाधड़ी के मामले कम होंगे। साथ ही इससे क्रेडिट और डेबिट कार्ड की जानकारी लीक होने की रिस्क भी कम होगी। इस नए नियम के तहत ग्राहक जब डेबिट या क्रेडिट कार्ड से ऑनलाइन पॉइंट ऑफ सेल या एप पर लेन-देन करेंगे, तब उनके कार्ड की डीटेल इनक्रिप्टेड कोड में सेव हो जाएगा। कार्ड टोकनाइजेशन करने के बाद कोई भी शॉपिंग वेबसाईट या ई-कॉमर्स वेबसाईट यूजर्स के कद की जानकारी को टोकन में सेव कर पाएगा।
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डेबिट या क्रेडिट कार्ड को टोकन में बदलने के बाद कार्ड की सारी जानकारी डिवाइस में छिपकर रखी जाती है। आरबीआई के मुताबिक कोई भी ग्राहक अपने कार्ड को बिना किसी भुगतान के टोकन कर सकता है। दरअसल, जब भी आप किसी ई-कॉमर्स वेबसाईट, मर्चेन्ट स्टोर या किसी ऐप पर कार्ड से पेमेंट करते हैं तो कार्ड की जारी डिटेल्स ये प्लेटफॉर्म स्टोर कर लेते हैं, जिसके बाद कोई ऑप्शन भी नहीं होता है और लीक होने का रिस्क भी बढ़ता है। इस नियम के बाद कार्ड के जरिए हुए पेमेंट की कोई भी जानकारी को ब्रांडिंग पार्टनर को नहीं दिया जाएगा। हालांकि यह नियम को-ब्रांडेड कार्ड सेगमेंट में ऑपरेटट करने वाली कंपनियों के बिजनेस मॉडल और प्रभावित कर सकता है। लेकिन फ्रॉड के मामले कम होंगे।