नई दिल्ली, डेस्क रिपोर्ट। रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) अक्सर नए-नए बदलाव ग्राहकों की सुरक्षा के लिए करता है। शुक्रवार को आरबीआई ने डिजिटल लोन के लिए नई गाइडलाइन जारी की है। इन नए नियमों के तहत ग्राहकों अधिक सुरक्षा मिलेगी। साथ ही लोन देने वाले बैंकों को इन नियमों को लागू करने के लिए एक निर्धारित समय दिया गया है। 30 नवंबर 2022 तक अभी डिजिटल लोन देनी वाली संस्थाओं को प्राप्त सिस्टम और नए नियमों को लागू करना अनिवार्य होगा।
यह भी पढ़े… Congress Bharat Jodo Yatra : कवितामय हुए दिग्विजय सिंह, भारत जोड़ो यात्रा को लेकर किया ये आह्वान
बता दें की यह नए नियम नए लोन और ग्राहकों पर लागू होंगे। साथ ही आरबीआई यह भी सुनिश्चित करेगा की लोन देने वाली संस्थाएं इन नियमों का पालन कर रही हैं या नहीं। आरबीआई ने कहा की लेंडींग सर्विस प्रवाइडर या डिजिटल लोन देने वाले ऐप्स के लिए विनियमित संस्थाओं की तरफ से की गई आउटसोर्सिंग व्यवस्था उनकी जिम्मेदारियों को कम नहीं करता है। हालांकि उन्हें इन नियमों का पालन करना है।
पिछले महीने ही आरबीआई ने डिजिटल लोन को लेकर गाइडलाइन जारी की थी। नए दिशा निर्देश के मुताबिक सभी प्रकार के लोन का वितरण और पुनर्भुगतान केवल बैंक और उद्धारकर्ता के बीच में होगा। कोई भी थर्ड पार्टी इस प्रक्रिया में शामिल नहीं होगी। साथ ही लोन देने वाली संस्था अब बिना ग्राहकों की सहमति के क्रेडिट लिमिट को ऑटोमैटिक नहीं बढ़ा पाएगी।
यह भी पढ़े… भारत में जल्द सस्ता होगा पेट्रोल-डीजल! MP में कहीं सस्ता तो कहीं महंगा हुआ पेट्रोल, यहाँ जानें नए रेट
इतना ही नहीं आरबीआई ने यह भी निर्देश जारी किया है की किसी तरह की फीस या चार्ज का भुगतान अगर एलपीएस को किया जाता है तो इस पूरी प्रक्रिया का वहन आरई द्वारा किया जीएगा ना की उधारकर्ता की तरफ से। साथ ही आरबीआई ने थर्ड पार्टी, ब्याज दरों पर चार्ज लगाने, गलत सेल, प्राइवसी का उल्लंघन और अनैतिकता वाली लोन वसूली जैसी समस्याओं पर भी चिंता जताई है।