Mukhyamantri Seekho Kamao Yojana पर अपडेट, 7 जून से पंजीयन, 15 जुलाई से प्लेसमेंट, अगस्त में प्रशिक्षण, स्टाइपेंड भी मिलेगा, जानें नियम-प्रक्रिया

Pooja Khodani
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Mukhyamantri Seekho Kamao Yojana

Mukhyamantri Seekho Kamao Yojana : मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ योजना पर ताजा अपडेट है। योजना के लिए 7 जून से संस्थानों और 15 जून से युवाओं का पंजीयन प्रारंभ होगा। वही 15 जुलाई से प्लेसमेंट शुरू होंगे। राज्य शासन और प्रशिक्षण देने वाली संस्थाओं के बीच 31 जुलाई को अनुबंध होगा। युवाओं को प्रशिक्षण देने की शुरुआत एक अगस्त से होगी। इस योजना के तहत युवाओं को उद्योगों के साथ सेवा क्षेत्र में कौशल प्रशिक्षण के साथ शिष्यवृत्ति और कौशल प्रशिक्षण के लिए कंपनियों और सर्विस सेक्टर को जोड़ा जाएगा।

सीएम शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश के युवाओं में कौशल विकास क्षमता को बढ़ा कर उन्हें रोजगार से जोड़ा जायेगा। लर्न एण्ड अर्न की तर्ज पर रोजगार के लिये कौशल सिखाने “मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ” योजना का प्रभावी क्रियान्वयन शुरू किया गया है। राज्य शासन की मंशा है कि प्रदेश का युवा रोजगार मांगने वाला नहीं, रोजगार देने वाला बने। इसके लिये राज्य शासन ने अनेक स्व-रोजगार संबंधी योजनाएँ भी क्रियान्वित की हैं। इसी श्रंखला में यह योजना लागू की गई है, जो उद्योग उन्मुख प्रशिक्षण आधारित है।

योजना से कंपनियों और सर्विस सेक्टर को जोड़ा जाएगा

“मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ योजना” में युवाओं को उद्योगों के साथ सर्विस सेक्टर में कौशल प्रशिक्षण दिलाते हुए स्टाईपेंड की व्यवस्था भी की गई है। युवाओं को नवीनतम तकनीक और प्रक्रिया से व्यावसायिक कौशल प्रशिक्षण दिया जायेगा। इसके लिए योजना से कंपनियों और सर्विस सेक्टर को जोड़ा गया है। इस नवाचारी व्यवस्था से युवाओं को रोज़गार, प्रगति और विकास के नित नए अवसर मिलेंगे।प्रदेश के एक लाख युवाओं को योजना के 46 सेक्टर में 800 से अधिक पाठ्यक्रमों में दक्ष करने का प्रारंभिक लक्ष्य रखा गया है।

अलग अलग स्तर पर मिलेगा स्टाईपेंड

योजना में मध्यप्रदेश के स्थानीय निवासी 18 से 29 वर्ष के 12वीं या उससे कम कक्षा में उत्तीर्ण युवा को 8 हजार रूपये, आईटीआई उत्तीर्ण को 8 हजार 500 रूपये, डिप्लोमा उत्तीर्ण को 9 हजार रूपये और स्नातक या उच्च शैक्षणिक योग्यता वाले युवाओं को 10 हजार रूपये प्रतिमाह स्टाईपेंड दिया जायेगा। राज्य शासन की ओर से निर्धारित स्टाईपेंड की 75 प्रतिशत राशि प्रशिक्षणार्थियों को डीबीटी से भुगतान की जायेगी। संबंधित प्रतिष्ठानों द्वारा निर्धारित न्यूनतम स्टाईपेंड की 25 प्रतिशत राशि प्रशिक्षणार्थियों के बैंक खाते में जमा करानी होगी। प्रतिष्ठान अपनी ओर से निर्धारित राशि से अधिक स्टाईपेंड देने के लिये स्वतंत्र होंगे। स्टाईपेंड एक वर्ष तक दिया जायेगा।

विभिन्न क्षेत्रों में दिया जायेगा प्रशिक्षण

योजना में युवाओं को कौशल प्रदान करने के लिये चिन्हित कार्य-क्षेत्र में विनिर्माण क्षेत्र, इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रिकल, मैकेनिकल, सिविल, प्रबंधन, मार्केटिंग, होटल मैनेजमेंट, टूरिज्म, ट्रायबल, अस्पताल, रेलवे, आईटी सेक्टर, सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट, बैंकिंग, बीमा, लेखा, चार्टर्ड अकाउंटेंट, मीडिया, कला, कानूनी और विधि सेवाएँ, शिक्षा एवं प्रशिक्षण सहित 800 से अधिक सेवा क्षेत्र में कार्यरत प्रतिष्ठान भागीदारी करेंगे।

समिति गठित, ये होंगे सदस्य

“मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ योजना” के तहत मुख्य सचिव की अध्यक्षता में साधिकार समिति का गठन किया गया है। समिति में वित्त, औद्योगिक नीति एवं निवेश प्रोत्साहन, सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग, श्रम, उच्च शिक्षा के अपर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव, सचिव सदस्य मनोनीत किये गये हैं। प्रमुख सचिव तकनीकी शिक्षा, कौशल विकास एवं रोजगार समिति के सदस्य सचिव होंगे।

योजना की प्रक्रिया एवं क्रियान्वयन

  1. योजना के पोर्टल पर 7 जून 2023 से प्रतिष्ठानों का पंजीयन एवं कोर्स का चयन कर वैकेंसी प्रकाशित करना प्रांरभ होगा।
  2. युवाओं का योजना के पोर्टल पर पंजीयन 15 जून से प्रांरभ होगा।
  3. पोर्टल पर कोर्स चयन कर वैकेंसी के विरूद्ध आवेदन करना 15 जुलाई से प्रारंभ होगा। साथ ही प्रतिष्ठानों द्वारा युवाओं का चयन कर ऑफर दिया जायेगा।
  4. युवा-प्रतिष्ठान-मध्यप्रदेश शासन के मध्य 31 जुलाई से अनुबंध प्रारंभ होंगे।
  5. ऑन द जॉब प्रशिक्षण (ओजेटी) 1 अगस्त से प्रारंभ होगा।
  6. मूल्यांकन और प्रमाणीकरण के साथ योजना में मासिक वित्तीय सहायता एक सितम्बर से दी जाना प्रारंभ होगी।
  7. योजना में चिन्हित प्रतिष्ठानों का पेन एवं जीएसटी पंजीयन अनिवार्य होगा।
  8. प्रतिष्ठान अपने कुल कार्य-बल के 15 प्रतिशत की संख्या तक प्रशिक्षणार्थियों को प्रशिक्षण दे सकेंगे।
  9. जिन प्रतिष्ठानों में कम से कम 20 लोग नियमित रूप से कार्यरत हों, उनके कुल कार्य-बल की गणना ईपीएफ जमा करने के आधार पर की जायेगी।

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