Driving Licence: अब बिना RTO टेस्ट के बनेगा ड्राइविंग लाइसेंस, 1 जुलाई से लागू होंगे नए नियम

Pooja Khodani
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भोपाल, डेस्क रिपोर्ट।  ड्राइविंग लाइसेंस (Driving Licence) बनवाने वालों के लिए खुशखबरी है। 1 जुलाई (1 July 2021) से ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के नियम बदलने वाले है। इसके तहत ना तो आपको कोई टेस्ट देना होगा और ना ही आरटीओ के चक्कर लगाने पड़ेंगे। आप सिर्फ मान्यता प्राप्त ड्राइविंग स्कूल से वाहन चलाना सीख सकते है और आसानी से टेस्ट देकर लाइसेंस भी पा सकते हैं।

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दरअसल, बीते दिनों  रोड ट्रांसपोर्ट मिनिस्ट्री (Road Transport Ministry) ने ड्राइविंग लाइसेंस के लिए नए रूल को अधिसूचित किए है, जो 1 जुलाई 2021 से लागू होंगे। नये नियम के मुताबिक़, किसी भी आरटीओ में ना जाकर आपको सिर्फ ड्राइविंग ट्रेनिंग स्कूल(Driving Training  School) में रजिस्ट्रेशन कराना होगा और ड्राइविंग टेस्ट (Driving Licence Test) पास करने के बाद आपको ड्राइविंग लाइसेंस जारी कर दिया जाएगा।

सड़क और परिवहन मंत्रालय की ओर से जारी नए नियमों के मुताबिक, कोई भी व्यक्ति जिसने किसी भी सरकारी मान्यता प्राप्त ड्राइविंग ट्रेनिंग सेंटर से टेस्ट पास किया है तो उसे लाइसेंस  के लिए अप्लाई करते वक्त RTO में होने वाले ड्राइविंग टेस्ट से मुक्त रखा जाएगा, यानी उसे RTO में ड्राइविंग टेस्ट नहीं देना होगा, उसका ड्राइविंग लाइसेंस प्राइवेट ड्राइविंग ट्रेनिंग सेंटर के सर्टिफिकेट पर ही बना दिया जाएगा।

Driving Licence: अब बिना RTO टेस्ट के बनेगा ड्राइविंग लाइसेंस, जानें क्या है नए नियम

खास बात तो ये है कि इस ड्राइविंग लाइसेंस टेस्ट की पूरी प्रक्रिया का इलेक्ट्रॉनिक ब्योरा रखा जाएगा। इसके लिए मोटर वाहन कानून, 1988 के तहत इन केंद्रों पर ‘रेमिडियल’ और ‘रिफ्रेशर’ पाठ्यक्रम उपलब्ध कराए जाएंगे। इस प्रकार के मान्यता प्राप्त ड्राइविंग सेंटर्स से गाड़ी चलाने की ट्रेनिंग लेने के बाद चालकों को ड्राइविंग लाइसेंस (Driving Licence 2021) पाने में मदद मिलेगी, हालांकि मान्यता 5 साल के लिए लागू रहेगी और इसे रिन्यू किया जा सकेगा। हल्के मोटर वाहन चालक ड्राइविंग कोर्स की अवधि अधिकतम 4 सप्ताह में 29 घंटे की होगी।


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खबर वह होती है जिसे कोई दबाना चाहता है। बाकी सब विज्ञापन है। मकसद तय करना दम की बात है। मायने यह रखता है कि हम क्या छापते हैं और क्या नहीं छापते। "कलम भी हूँ और कलमकार भी हूँ। खबरों के छपने का आधार भी हूँ।। मैं इस व्यवस्था की भागीदार भी हूँ। इसे बदलने की एक तलबगार भी हूँ।। दिवानी ही नहीं हूँ, दिमागदार भी हूँ। झूठे पर प्रहार, सच्चे की यार भी हूं।।" (पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर)

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