भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। आय से अधिक संपत्ति मामले में आबकारी अधिकारी पराक्रम सिंह चंद्रावत (Parakram Singh Chandrawat) की मुश्किलें कम होने का नाम नही ले रही है। MP की शिवराज सरकार (Shivraj Government) ने आबकारी अधिकारी (Excise Officer) पर शिकंजा कसना शुरु कर दिया है। राज्य शासन (State Government) ने चंद्रावत के खिलाफ चालान पेश करने की अनुमति जारी की।इसके बाद शासन द्वारा स्थाई रुप से चंद्रावत को निलंबित (Suspended) कर दिया जाएगा।
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खास बात ये है कि चंद्रावत के कई राजनेताओं और बड़े अफसरों से संबंध है, जिसके चलते वे अबतक बचते आ रहे थे, लेकिन सत्ता में शिवराज सरकार के दोबारा आते ही एक्शन लिया गया है। पिछले कार्यकाल में भी सरकार द्वारा बड़ी कार्रवाई की गई थी।अब राज्य शासन की तरफ से पीएस वाणिज्यिक कर दीपाली रस्तोगी (PS Commercial Tax Deepali Rastogi) ने पराक्रम सिंह चंद्रावत और उनकी पत्नी विभावरी चंद्रावत के विरुद्ध लोकायुक्त पुलिस (Lokayukt Police) को कोर्ट में चालान पेश करने की अनुमति दे दी।
रस्तोगी (Deepali Rastogi) ने इस आदेश की प्रति पुलिस महानिरीक्षक लोकायुक्त भोपाल (Inspector General of Police, Lokayukta Bhopal), पीएस विधि सहित चार अफसरों को भेजी है। पीएस दीपाली रस्तोगी के हस्ताक्षर से जारी अनुमति के बाद जैसे ही लोकायुक्त पुलिस चन्द्रावत के विरुद्ध भ्रष्टाचार अधिनियम (Corruption act) के विशेष जज की कोर्ट (Court) में चालान पेश करेगी, वैसे ही शासन चन्द्रावत को स्थाई रूप से निलंबित कर देगा ।
बता दे कि आबकारी कमिश्नर के आदेश का पालन नही करने और लापरवाही के चलते चंद्रावत को कई बार नोटिस दिया जा चुका है ।2018 में राज्य सरकार ने राजस्व की हानि पहुँचाने पर चंद्रावत को खरगोन (Khargone) से निलंबित किया था, इसके बाद उन्हें ग्वालियर (Gwalior) मुख्यालय में अटैच किया गया था ।चंद्रावत के खिलाफ इंदौर -उज्जैन (Indore-Ujjain) की लोकायुक्त टीम ने 8 ठिकानों पर छापेमार कार्रवाई की थी, जिसमें करोड़ों की बेहिसाब संपत्ति व नकदी मिली थी। तब चंद्रावत धार पोस्टेड थे और लोकायुक्त पुलिस ने धार का आबकारी कार्यालय भी सील किया था ।